17 दिसंबर 2014

बुजुर्ग झेल रहे दर्द : कतार में चौदह घंटे, फिर भी फर्द नहीं

डबवाली (लहू की लौ) इन दिनों ई-दिशा केंद्र में फर्द के लिये बुजुर्गों को दर्द झेलना पड़ रहा है। इसके बावजूद भी फर्द नसीब नहीं हो रही। मंगलवार को फर्द लेने आये लोग तहसीलदार से मिले। दो टूक लफ्जों में बात करते हुये कहा कि घंटों कतार में खड़े रहकर उनकी टांगों में सोजिश आ गई है। साहब आप कुछ इंतजाम कीजिये।
दो दिनों से ई-दिशा केंद्र में फर्द लेने के लिये लंबी कतार लग रही है। कई लोग ऐसे हैं, जो दोनों ही दिन कतार में खड़े रहे, लेकिन उनका नंबर नहीं आया। मायूस लोगों ने मंगलवार को तहसीलदार के कार्यालय में पहुंचकर अपनी व्यथा सुनाई। जिस पर तहसीलदार ने संबंधित पटवारी को तय समय सीमा से एक घंटा ज्यादा काम करने के निर्देश दिये। फर्द लेना यहां मुश्किल हो रहा है, वहीं दलालों की चांदी बन रही है। फर्द लेकर बाहर आये लोगों ने बताया कि ई-दिशा के भीतर कई दलाल सक्रिय हैं, जो फोन पर ही सारा काम कर देते हैं। बाद में चोरी मोरी से फर्द प्राप्त हो जाती है। गांव मांगेआना के नछत्तर सिंह, गांव कालूआना के पिरथी राज तथा जंडवाला बिश्नोईयां के मनी राम ने बताया कि वे सोमवार को भी आये थे। शाम करीब साढ़े चार बजे तक लाईन में खड़े रहने के बाद चले गये। चूंकि उनकी बस का समय निकले जा रहा था। आज फिर उन्हें कतार में खड़ा होना पड़ा है।
सुबह 8 बजे शुरू हो जाती है लाईन लगनी
फर्द लेने के लिये इन दिनों मारामारी जैसी स्थिति है। काऊंटर के आगे सुबह 8 बजे से लोग कतार में लगना शुरू हो जाते हैं। जो शाम करीब छह बजे तक जारी रहते हैं। ई-दिशा केंद्र एक दिन में करीब डेढ़ सौ से दो सौ फर्द जारी करने का दावा कर रहा है।
क्यों हो रही मारामारी
तत्कालीन एसडीएम सतीश कुमार ने फर्द के लिये टोकन सिस्टम लागू किया था। लेकिन उनके तबादले के साथ व्यवस्था में भी परिवर्तन आ गया है। अब टोकन की जरूरत नहीं, लाईन में लगने वाले व्यक्ति को ही फर्द दी जाती है।

टोकन सिस्टम लागू करेंगे
फर्द के लिये टोकन सिस्टम लागू किया जायेगा। ताकि लोगों को परेशानी न हो। भीड़ को देखते हुये फर्द के लिये एक कंप्यूटर तथा ऑपरेटर की मांग की जायेगी। कर्मचारियों को निर्देश दिये गये हैं कि जब तक एक भी व्यक्ति फर्द के लिये काऊंटर पर है, तब तक कार्य जारी रखा जाये।
-मातू राम नेहरा, तहसीलदार

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