08 जुलाई 2011

रोड़वेज परिचालक जम्मूतवी के आगे कूदा, मौत

डबवाली (लहू की लौ) तबादले से परेशान हरियाणा रोड़वेज के परिचालक ने गुरूवार सुबह करीब 6.50 पर अहमदाबाद-जम्मूतवी गाड़ी के आगे कूदकर आत्महत्या कर ली।
गांव पिपली हाल वडिंगखेड़ा (जिला श्री मुक्तसर साहिब) में अपने ससुराल में रहने वाला मेजर सिंह (40) हरियाणा रोड़वेज के चण्डीगढ़ डिपू में परिचालक के पद पर तैनात था। 1985 में मेजर सिंह की पोस्टिंग रोड़वेज के उप डिपू डबवाली में हुई थी। करीब दो साल पहले उसका तबादला चण्डीगढ़ कर दिया गया था। तबादला होने के कारण वह मानसिक तौर पर परेशान रहने लगा। इसी परेशानी के चलते आज सुबह मेजर सिंह ने अहमदाबाद-जम्मूतवी गाड़ी के आगे अपनी जान दे दी। इस दुर्घटना में मेजर सिंह की दोनों टांगे और सिर बुरी तरह से क्रेश हो गया।
नशे का था आदि
मृतक के भाई बिकर सिंह (35) निवासी प्रेमनगर, डबवाली ने बताया कि मेजर अक्सर शराब, पोस्त तथा मेडिकल नशा करता था। तबादले के बाद से वह मानसिक तौर पर परेशान चला आ रहा था। मंगलवार शाम करीब 5 बजे वह उससे मिलने के लिए प्रेमनगर में आया था। लेकिन उसी समय चला गया। वह तभी से उसकी तालाश कर रहा थी। सुबह रोड़वेज कर्मियों ने उसे सूचना दी कि उसके भाई की गाड़ी के तले आने से मौत हो गई है। मृतक के दो बेटे सुखचरण उर्फ सुक्खी (17) तथा सुखबीर (15) हैं।
यूं हुई पहचान
स्टेशन अधीक्षक महेश सरीन ने बताया कि सुबह अहमदाबाद-जम्मूतवी एक्सप्रैस गाड़ी के चालक बालक राम सैनी तथा गार्ड मोहन लाल मीणा ने उन्हें सूचना दी कि एक व्यक्ति ने गाड़ी के आगे कूदकर अपनी जान दे दी है। जिसकी डायरी रेलवे लाईन के निकट पड़ी है। उन्होंने बताया कि डायरी में दर्ज नंबरों पर फोन करने पर मृतक की पहचान रोड़वेज परिचालक मेजर सिंह के रूप में हुई। उन्होंने इसकी सूचना तत्काल जीआरपी बठिंडा को दी।
मामले की जांच कर रहे बठिंडा जीआरपी के हवलदार जगतार सिंह ने बताया कि मृतक मेजर सिंह के बेटे सुखचरण सिंह ने पुलिस को दिए ब्यान में कहा है कि उसका पिता हरियाणा रोड़वेज के सब डिपू डबवाली में तैनात था। कुछ समय पूर्व उनका तबादला चण्डीगढ़ डिपू में कर दिया गया। इन दिनों मेडिकल अवकाश पर चल रहा था। तबादले की वजह से वह मानसिक तौर पर परेशान था। मानसिक परेशानी के चलते उन्होंने उपरोक्त कदम उठाया। पुलिस ने सुखचरण के उपरोक्त ब्यान के आधार पर इत्तेफाकिया मौत की कार्रवाई करते हुए शव का बठिंडा के सरकारी अस्पताल से पोस्टमार्टम करवाने के बाद उसे उसके वारिसों को सौंप दिया।

प्रेशर कुकर फटा, महिला बेहोश

डबवाली (लहू की लौ) वार्ड नं. 15 में स्थित एक मकान में बुधवार शाम करीब 7.30 बजे धमाका होने से सनसनी फैल गई। गली में खड़े लोग धमाके से घबराकर अपने घरों में दुबक गए।
गली हीरा लाल वाली में रह रहे कबाड़ का काम करने वाले दुलीचन्द (34) की पत्नी राजबाला (32) बुधवार शाम को रात का खाना तैयार कर रही थी। चूल्हे पर प्रेशर कुकर में सब्जी बनने के लिए छोड़कर वह पास पड़ी एक खाट पर बैठ गई। अचानक विस्फोट के साथ प्रेशर कुकर फट गया। घबराई राजबाला बेहोश होकर वहीं गिर गई। इधर एकबारगी धमाका सुनकर गली में खड़े लोग अपने घरों में हो लिए। धमाके की गूंज इतनी थी कि यह साथ लगती तीन गलियों तक सुनाई दिया।
बाद में पड़ौसी युवक प्रवेश बहल तथा विजय कुमार दुलीचन्द के घर आए। वहां बेहोश होकर जमीन पर पड़ी राजाबाला को उठाया और उसे पास स्थित एक निजी अस्पताल में ले गए। युवकों ने घटना की सूचना मकान मालिक को भी दी। दुलीचन्द ने बताया कि दो दिन पूर्व ही उसने यह प्रेशर कुकर खरीदा था। प्रेशर कुकर फटने से गैस चूल्हे को भी नुक्सान पहुंचा। इस तरह उसका करीब 4000 रूपए का नुक्सान हो गया। धमाका होने से प्रेशर कुकर अलग-अलग हिस्सों में बंट गया। इसके टुकड़े अलग-अलग दिशाओं में स्थित काफी दूर स्थित घरों में बिखर गए।

दादू की पंचायत ने किया सरकारी स्कूल का निरीक्षण, कक्षा में नहीं मिले छात्र

कालांवाली (संजीव सिंगला) ग्राम पंचायत दादू द्वारा राजकीय उच्च विद्यालय में अध्यापकों द्वारा बरती जा रही अनियमितताओं व खराब परीक्षा परिणाम को लेकर विद्यालय का औचक्क निरीक्षण किया।  अध्यापकों द्वारा कक्षाएं न लगाए जाने पर विद्यार्थी इधर-उधर घूम रहे थे।
मुख्याध्यापक अपने कार्यालय में बैठकर आराम कर रहा था। पंचायत ने चेतावनी दी कि अगर शीघ्र ही विद्यालय के अनुशासन में सुधार न किया गया और अध्यापकों द्वारा ड्युटी में कोताही बरती गई तो स्कूल को ताला जड़ देंगे। राजकीय उच्च विद्यालय दादू का परीक्षा परिणाम खराब आने व ड्युटी समय से पहले घर चले जाने की शिकायत पंचायत को कई बार मिली है।
इसको लेकर सरपंच दलीप सिंह के नेतृत्व में आज विद्यालय का ओचक्क निरीक्षण किया तो अध्यापक कक्षाओं से नादारद मिले। 6वी , 7वीं, 8वीं व 10वीं की कक्षाओं में कोई भी अध्यापक उपस्थित न होने पर अध्यापकों को खुब खरी खोटी सुनाई। पंचायत द्वारा हाजिरी रजिस्टर का निरीक्षण किया गया तो एक कर्मचारी द्वारा हाजिरी ही नहीं लगाई गई थी। पंचायत ने मिड डे मील का भी निरीक्षण किया तो पता चला कि पिछले एक सप्ताह से मिड डे मील ही नहीं बनाया गया। और अध्यापकों द्वारा आंधी से गिरे पेड़ों की कटाई करवाकर कमरे में रखी हुई थी।
पंचायत ने आरोप लगाया कि पेड़ की कटाई करके मिड डे मील बनवाया जाना था। उधर प्राईमरी स्कूल का निरीक्षण करने पर पता चला कि लड़कियों के प्राइमरी स्कूल में स्टाफ छुट्टी पर होने पर छात्राओं को लड़कों के प्राईमरी स्कूल में ही बिठा रखा था। पंचायत ने बताया कि इस बार 10वीं का परीक्षा परिणाम 46 प्रतिशत ही रहा जबकि पिछले वर्ष 100 प्रतिशत परीक्षा परिणाम आया था। अध्यापकों द्वारा कक्षाओं से नादारद रहने व स्कूल की छुट्टी के समय से पहले ही घर चले जाने से विद्यालय का माहौल खराब हो रहा है। पंचायत ने स्टाफ को चेतावनी दी अगर समय पर स्कूल व अनुशासन में सुधार न किया तो स्कूल को ताला जड़ देंगे। इस अवसर पर उनके साथ पंचायत सदस्य सुखदेव सिंह, डिप्टी सिंह, चरणजीत सिंह, जोगिंद्र सिंह, वकील सिंह व अन्य पंचायत सदस्य उपस्थित थे।
इस बारे में जिला शिक्षा अधिकारी कुमकुम ग्रोवर से बात की तो उन्होने कहा कि उनके पास कोई ऐसी शिकायत नहीं आई फिर भी वह मिड डे मील न बनने व अध्यापकों के कोताही बरतने की मामले की जांच की जाएगी।

नशे ने ली युवक की जान, जेब से मिले भारी मात्रा में कैप्सूल

डबवाली (लहू की लौ) शहर में अंधाधुंध बिक रहे मेडिकल नशे ने युवाओं को बर्बादी के बाद अब उनकी जान को लेना शुरू कर दिया। रेलवे परिसर में मेडिकल नशे के चलते एक युवक की मौत हो गई। पुलिस को युवक के पास भारी मात्रा में नशे के कैप्सूल मिले हैं। रेलवे पुलिस के हवलदार ईश्वर सिंह ने बुधवार को रेलवे डिग्गी के पास एक युवक को पड़े हुए देखा। युवक सांस भर रहा था। लेकिन युवक का शरीर तप रहा था और बेहोशी की हालत में था। पहचान जानने के लिए उसकी तालाशी लेने पर जेब से नशे में प्रयुक्त होने वाले स्पाजमा प्रोक्सीवॉन कैप्सूल तथा लोमोटिल की गोलियां भारी मात्रा में मिली। जबकि अन्य कोई भी कागजात युवक की जेब में नहीं था। सूचना पाकर मौका पर पहुंची डबवाली जन सहारा सेवा संस्था की एम्बुलैंस ने युवक को सरकारी अस्पताल में पहुंचाया। लेकिन अस्पताल में कुछ समय बाद ही युवक ने दम तोड़ दिया।
जीआरपी चौकी प्रभारी एएसआई सुरेश कुमार ने बताया कि मृतक के तन पर कबूतरी रंग की टी-शर्ट, जिस पर अंग्रेजी में न्यूयार्क लिखा हुआ, ग्रे कलर की पेंट पहनी हुई है। लेकिन पैर नंगे और तन पर न बनियान और न कच्छा। उम्र अनुमानत: 32-33 वर्ष, रंग सांवला, चेहरा लंबूतरा, कद 5 फुट 9 ईंच है। पहचान के लिए शव को सरकारी अस्पताल के डैड हाऊस में 72 घंटे के लिए रखा गया है।

गरीबों को बंटेगी शमशान भूमि!

महात्मा गांधी ग्रामीण बस्ती योजना के तहत बंटने हैं सौ-सौ गज के प्लाट
डबवाली (लहू की लौ) गरीबी रेखा से नीचे जीवन यापन करने वाले लोगों को महात्मा गांधी ग्रामीण बस्ती योजना के तहत दिए जा रहे प्लाटों को लेकर बवाल खड़ा हो गया है। आरोप है कि ग्राम पंचायतें अपने चहेतों को प्लाट आवंटित करके जरूरतमंदों को इससे वंचित कर रही हैं। आरोप यह भी है कि पंचायतों ने प्लाटों के लिए मृत बालकों को दफनाने वाले स्थलों को भी नहीं बख्शा है। मामले की जांच करवाए जाने की मांग को लेकर दो गांवों के लोगों ने बुधवार को एसडीएम को ज्ञापन सौंपा।
गांव पन्नीवाला रूलदू के निवासी मग्घर सिंह, हरफूल सिंह, मक्खन लाल, बलदेव सिंह, बिल्लू, पिरथी, छोटा सिंह, गुरदीप, बलजीत कौर, शाम सिंह, करनैल कौर, सुखजीत कौर आदि ने बताया कि सरकार की ओर से उनके गांव में 100-100 गज के प्लाट आवंटित किए जा रहे हैं। लेकिन आवंटन में भारी गोलमाल किया जा रहा है। अपात्र व्यक्तियों को पात्र बताकर प्लाट दिए जा रहे हैं। इन लोगों ने बताया कि गांव में जिनके पास जमीन, जायदाद, ट्रेक्टर हैं, उन्हें भी प्लाट देकर जरूरतमंदों को वंचित किया जा रहा है।
इधर गांव कालूआना के प्रीतपाल नंबरदार, जगतपाल, प्रहलाद, लेखराम, विनोद, अभिमन्यु ने बताया कि उनके गांव में भी जरूरतमंदों पर कुठाराघात करते हुए ग्राम पंचायत अपने चहेतों को प्लाटों का आवंटन कर रही है। उनके अनुसार बेशकीमती जमीन जोकि बस अड्डा के नजदीक पड़ती है और खसरा नं. 514, 516, 522 है, को योजना के नाम पर कुंवारे युवकों को आवंटित किया जा रहा है। उपमण्डलाधीश को दी शिकायत में कहा है कि नथोर रोड़ पर स्थित मृत छोटे बच्चों को दफनाने के लिए बनाए गए शमशान घाट को भी प्लाटों में लाकर आवंटित किया जा रहा है। यह वह जमीन है, जिसमें ग्रामीण सालों से मृत बच्चों को दफनाते आ रहे हैं।
बाद में उपमण्डलाधीश डॉ. मुनीश नागपाल ने बताया कि गांव पन्नीवाला रूलदू तथा कालूआना के ग्रामीणों की शिकायत को ध्यान में रखते हुए बीडीपीओ डबवाली को आवश्यक कार्यवाही करके रिपोर्ट देने के लिए कहा गया है। दोनों गांवों के ग्रामीणों की शिकायत को सूचनार्थ के लिए उपायुक्त सिरसा के पास भेजा गया है।
इधर एससीपीओ रामप्रकाश ग्रोवर ने बताया कि कई गांवों से 100-100 गज के प्लाट अपात्र व्यक्तियों को दिए जाने की शिकायतें ग्रामीणों से मिली हैं। शिकायतों के आधार पर जांच-पड़ताल की जाएगी। उन्होंने यह भी बताया कि गांव कालूआना की पंचायत ने तीन-चार जगह प्लाट वितरण के लिए दर्शाई हैं।  बच्चों को दफनाने वाली जगह किसी भी सूरत में जरूरतमंदों को वितरित नहीं करने दी जाएगी।
गांव कालूआना के सरपंच जगदेव सहारण ने बताया कि गांव में गरीबी रेखा के नीचे जीवन-यापन करने वाले जरूरतमंदों को सौ-सौ गज के प्लाट हरियाणा सरकार के नियमानुसार आवंटित किए जा रहे हैं। उनके अनुसार शमशान भूमि को गांव से बाहर निकाल दिया गया है और वहीं पर अलग से इसके लिए जगह पहले से निर्धारित की हुई है। जिस जगह की बात की जा रही है, वह जगह गांव के भीतर आती है और अब वहां पर मृतक बच्चों को दफनाने के लिए कोई कार्य नहीं हो रहा। बल्कि इस खाली पड़ी जमीन को गरीबों को बांटकर इस भूमि को पंचायत उपयोग में ला रही है। उनके अनुसार प्लाटों का वितरण राशन कार्ड के आधार पर किया जा रहा है। अगर कोई कुंवारा लड़का जिसका राशन कार्ड अलग बना हुआ है, वो इसके अंतर्गत आता है, तो उसे भी प्लाट लेने से कैसे वंचित किया जा सकता है। उन्होंने शिकायतकर्ता जगतपाल पर आरोप लगाया कि उसने पंचायत की आधा एकड़ भूमि पर कब्जा कर रखा है। गरीबों को भूमि आवंटन के समय उसकी अवैध कब्जे वाली भूमि भी प्लाटों में चली जाएगी। इसलिए वह उसका विरोध कर रहा है।