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Lahoo Ki Lau
03 सितंबर 2010
घर से उठा ले गए थे लड़की को!
डबवाली (लहू की लौ) गांव अलीकां में बेहोशी की हालत में मिली 15 वर्षीय लड़की को गांव के दो युवक बेहोश करके उठा ले गए थे। इस बात का खुलासा बुधवार को होश में आने के बाद डबवाली के सरकारी अस्पताल में लड़की ने पुलिस के समक्ष किया। मामले की जांच कर रहे थाना शहर पुलिस के एएसआई कैलाश चन्द्र ने बताया कि गांव अलीकां के टेलर मास्टर रणजीत सिंह की 15 साल की बेटी वीरपाल को बुधवार को यहां के सरकारी अस्पताल में होश आ गया। लड़की को उसके परिजन मंगलवार सुबह बेहोशी की हालत में अस्पताल लाए थी। तभी से लड़की अचेत अवस्था में थी। होश में आने के बाद लड़की ने पुलिस को बताया कि सोमवार रात करीब 1-1.30 बजे वह लघुशंका के लिए उठी थी। इसी दौरान उनके पड़ौसी छिन्द्रपाल सिंह उर्फ पप्पू राम के दो बेटे जग्गी और वीरचन्द आए। उनमें से एक ने उसे पकड़ लिया और दूसरे ने उसके मुंह पर रूमाल रख दिया। जिससे वह बेहोश हो गई। इसके बाद उसे कुछ भी मालूम नहीं कि उसके साथ क्या हुआ। एएसआई कैलाश चन्द्र ने बताया कि पुलिस ने फिलहाल दफा 363/366 के तहत मामला दर्ज करके जांच शुरू कर दी है। लड़की का मेडीकल करवा जाएगा। रिपोर्ट आने के बाद आगामी कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
शराब की सौगन्ध पर मान गये मिस्टर टिंकू
डबवाली (लहू की लौ) पहले शराब ने एक युवक को चोरी की लत डाली और फिर उसी शराब की सौगन्ध ने चुराया गया सामान उसे लौटाने के लिए मजबूर कर दिया। सब्जी मंडी के पीछे स्थित ठेका शराब देसी के सेल्जमैन रमेश कुमार (48) पुत्र भगवान दास निवासी डबवाली ने बताया कि ठेका पर मंडी किलियांवाली का टिंकू नामक युवक शराब पीने अक्सर आता था। इसी दौरान उसके दिल में बेईमानी आ गई और उसने ठेका मोबाइल फोन और कूलर की जाली चुरा ली। इसकी भनक लगते ही उसने इस युवक को दबोच लिया और काफी पूछताछ के बाद भी जब वह नहीं माना तो उसे शराब की सौगन्ध उठाने के लिए कहा गया। शराब की सौगन्ध की बात सुनते ही टिंकू का नशा टूटने लगा और वह सबकुछ माना ही नहीं, बल्कि उसने चुराया गया मोबाइल और कूलर की जाली भी उसे वापिस लौटा दी।
महिलाओं ने रेहड़ी मालिक को चप्पलों से धुना
डबवाली (लहू की लौ) अमरूद को लेकर मुख्य बाजार में एक फ्रूट विक्रेता और महिला के बीच हाथापाई हो गई। गुस्से में आई महिलाओं ने रेहड़ी मालिक की चप्पलों से धुनाई कर डाली।
रोशनी देवी (20) निवासी गंगा ने बताया कि वह अपनी मां सावित्री के साथ अबोहर से मंगलवार को डबवाली आई थी और उन्होंने पंजाब बस स्टैंड से अमरूद खरीदे थे। उसकी मां डबवाली के मुख्य बाजार में अमरूद खाती जब एक फ्रूट रेहड़ी के पास से गुजरी तो रेहड़ी मालिक ने थोड़ा आगे जाकर उन्हें पकड़ लिया और यह कहते हुए थप्पड़ रसीद कर दिया कि उसने उसकी रेहड़ी से अमरूद उठा कर खाया है। इसका उन्होंने विरोध किया, लेकिन रेहड़ी मालिक ने जब पुन: उसकी मां पर हाथ उठाने का प्रयास किया तो उन्होंने रेहड़ी मालिक को पकड़ लिया और अच्छा धुना।
इधर रेहड़ी मालिक रमेश (54) पुत्र रामकिशन निवासी डबवाली ने बताया कि वह बाजार में रेहड़ी लगाये हुए था। उसकी रेहड़ी पर शाम को दो महिलाएं आयीं और उन महिलाओं में से एक ने अमरूद उठा लिया। जिसका उसने विरोध किया तो महिलाएं गाली-गलौच पर उतर आयी। बाद में चप्पलों से उस पर टूट पड़ी। दोनों पक्षों में से किसी ने भी इसकी शिकायत पुलिस में नहीं की।
रोशनी देवी (20) निवासी गंगा ने बताया कि वह अपनी मां सावित्री के साथ अबोहर से मंगलवार को डबवाली आई थी और उन्होंने पंजाब बस स्टैंड से अमरूद खरीदे थे। उसकी मां डबवाली के मुख्य बाजार में अमरूद खाती जब एक फ्रूट रेहड़ी के पास से गुजरी तो रेहड़ी मालिक ने थोड़ा आगे जाकर उन्हें पकड़ लिया और यह कहते हुए थप्पड़ रसीद कर दिया कि उसने उसकी रेहड़ी से अमरूद उठा कर खाया है। इसका उन्होंने विरोध किया, लेकिन रेहड़ी मालिक ने जब पुन: उसकी मां पर हाथ उठाने का प्रयास किया तो उन्होंने रेहड़ी मालिक को पकड़ लिया और अच्छा धुना।
इधर रेहड़ी मालिक रमेश (54) पुत्र रामकिशन निवासी डबवाली ने बताया कि वह बाजार में रेहड़ी लगाये हुए था। उसकी रेहड़ी पर शाम को दो महिलाएं आयीं और उन महिलाओं में से एक ने अमरूद उठा लिया। जिसका उसने विरोध किया तो महिलाएं गाली-गलौच पर उतर आयी। बाद में चप्पलों से उस पर टूट पड़ी। दोनों पक्षों में से किसी ने भी इसकी शिकायत पुलिस में नहीं की।
अय्याशी करते पुलिसकर्मी काबू
डबवाली (लहू की लौ) हरियाणा पुलिस के दो कर्मचारी अपने एक मित्र के साथ गांव पाना में महिला से अय्याशी कर रहे ग्रामीणों के धक्के चढ़ गये। मौका पर पुलिस के पहुंचने से पहले ही एक पुलिस कर्मचारी और महिला ग्रामीणों को चकमा देकर भाग गये।
गांव पाना के सरपंच सुरजीत सिंह ने बताया कि उनके गांव में दोपहर 2 बजे से चार लोग मोटरसाईकिल पर घूम रहे थे। जिनमें एक महिला भी थी। यह संदिग्ध लोग छह बजे तक गांव में घूमते रहे। लेकिन जब ग्रामीण नहर में एक कार गिरने की सूचना पाकर पहुंचे तो उन्होंने देखा कि वह संदिग्ध लोग नहर के पास बने खतानों में आपत्तिजनक हालत में हैं। ग्रामीणों ने जब उन लोगों को ललकारा तो यह लोग उनके गल पड़ गये और कहने लगे कि वह तो पुलिस वाले हैं उनका क्या बिगाड़ लोगे।
इस पर ग्रामीणों ने इसकी सूचना थाना सदर पुलिस को दी तो इन लोगों को पता चल गया कि वह अब पकड़े जायेंगे तो यह लोग भाग खड़े हुए। इसी दौरान ग्रामीणों ने दो को दबोच लिया। मोटरसाईकिल पर एक महिला और पुरूष भागने में सफल रहे। इतनी देर में मौका पर थाना सदर डबवाली पुलिस के एसआई रतन सिंह अपने दल बल के साथ पहुंच गये। एसआई रतन सिंह ने बताया पकड़े गये लोगों ने अपनी पहचान पंकज (27) पुत्र राजपाल निवासी गांव जाजी और सोनीपत के थाना सदर में सिपाही के पद पर तैनात बताया। दूसरे ने अपना नाम समन्दर सिंह (30) पुत्र गजे सिंह निवासी संदल खुर्द और ठेकेदारी करना बताया। इन लोगों ने पूछताछ के दौरान यह भी बताया कि उनके साथ प्रवीन नामक सिपाही भी था जो सोनीपत में ही तैनात है। सिपाही पंकज ने बताया कि वह कुछ समय पूर्व कालांवाली में बतौर सिपाही सर्विस कर चुका है। इस दौरान उसकी दोस्ती कालांवाली की एक महिला से हो गई। उसी के साथ वह और उसके दोस्त घूमने के लिए पाना गांव की तरफ आये थे। थाना सदर पुलिस ने पकड़े गये पंकज और समुन्दर के खिलाफ धारा 109 सीआरपीसी के तहत चालान कर दिया।
गांव पाना के सरपंच सुरजीत सिंह ने बताया कि उनके गांव में दोपहर 2 बजे से चार लोग मोटरसाईकिल पर घूम रहे थे। जिनमें एक महिला भी थी। यह संदिग्ध लोग छह बजे तक गांव में घूमते रहे। लेकिन जब ग्रामीण नहर में एक कार गिरने की सूचना पाकर पहुंचे तो उन्होंने देखा कि वह संदिग्ध लोग नहर के पास बने खतानों में आपत्तिजनक हालत में हैं। ग्रामीणों ने जब उन लोगों को ललकारा तो यह लोग उनके गल पड़ गये और कहने लगे कि वह तो पुलिस वाले हैं उनका क्या बिगाड़ लोगे।
इस पर ग्रामीणों ने इसकी सूचना थाना सदर पुलिस को दी तो इन लोगों को पता चल गया कि वह अब पकड़े जायेंगे तो यह लोग भाग खड़े हुए। इसी दौरान ग्रामीणों ने दो को दबोच लिया। मोटरसाईकिल पर एक महिला और पुरूष भागने में सफल रहे। इतनी देर में मौका पर थाना सदर डबवाली पुलिस के एसआई रतन सिंह अपने दल बल के साथ पहुंच गये। एसआई रतन सिंह ने बताया पकड़े गये लोगों ने अपनी पहचान पंकज (27) पुत्र राजपाल निवासी गांव जाजी और सोनीपत के थाना सदर में सिपाही के पद पर तैनात बताया। दूसरे ने अपना नाम समन्दर सिंह (30) पुत्र गजे सिंह निवासी संदल खुर्द और ठेकेदारी करना बताया। इन लोगों ने पूछताछ के दौरान यह भी बताया कि उनके साथ प्रवीन नामक सिपाही भी था जो सोनीपत में ही तैनात है। सिपाही पंकज ने बताया कि वह कुछ समय पूर्व कालांवाली में बतौर सिपाही सर्विस कर चुका है। इस दौरान उसकी दोस्ती कालांवाली की एक महिला से हो गई। उसी के साथ वह और उसके दोस्त घूमने के लिए पाना गांव की तरफ आये थे। थाना सदर पुलिस ने पकड़े गये पंकज और समुन्दर के खिलाफ धारा 109 सीआरपीसी के तहत चालान कर दिया।
फसल के चक्कर में किसान ने जान दांव पर लगाई, अस्पताल में दाखिल
डबवाली (लहू की लौ) उपमण्डल डबवाली के गांव गोदीकां में अपनी फसल को बचाने के खातिर एक किसान ने अपनी जान दांव पर लगा दी। किसान को घायल अवस्था में डबवाली के एक निजी अस्पताल में दाखिल करवाया गया है।
गांव गोदीकां के किसान अर्जुन दास (32) ने बताया कि उसने अपनी 12 एकड़ भूमि पर कपास-नरमा की बिजाई की हुई है। उसे टयूब्बैल का कनेक्शन लिए हुए को दो वर्ष बीत चुके हैं। लेकिन गांव में तैनात लाईनमैन धर्मपाल उससे टयूब्बैल की पार्टी मांगता है। सोमवार शाम को लाईनमैन उसके पास आया और उससे टयूब्बैल की पार्टी मांगने लगा। लेकिन उसने इंकार कर दिया। गुस्से में लाल धर्मपाल ने उसके टयूब्बैल का कनेक्शन काट दिया और बोला की पार्टी दे जाना और कनेक्शन लग जाएगा। अर्जुन दास के अनुसार अपनी फसल को बचाने के लिए वह टयूब्बैल का कनेक्शन करना चाहता था। मंगलवार सुबह वह अपने पड़ौसी सन्नी को साथ लेकर टयूब्बैलों को जाती बिजली की मेन स्विच काटने के लिए निकल गया। जैसे ही उसने लाईट बंद करने का प्रयास किया तो उसे करंट लग गया।
किसान अर्जुन दास करंट लगने से बुरी तरह से घायल हो गया। उसके हाथ, टांग और पैरों पर गंभीर चोट आई। मौका पर खड़े अर्जुन दास के पड़ौसी सन्नी ने उसे उपचार के लिए डबवाली के एक निजी अस्पताल में पहुंचाया। इस संदर्भ में जब दक्षिण हरियाणा बिजली वितरण निगम के मण्डल अभियंता बी.के. रंजन से बातचीत की गई तो उन्होंने कहा कि किसान उन्हें लाईन मैन के खिलाफ लिखकर दे, तो वे मामले की जांच करवाएंगे। किसान ने खुद जोखिम मोल लिया। किसान को इसकी सूचना विभाग के उच्च अधिकारियों से करनी चाहिए थी। लेकिन किसान ने बिजली निगम के सिस्टम से छेडख़ानी करके गलत किया। इसके चलते किसान पर भी कानूनी कार्रवाई बनती है।
गांव गोदीकां के किसान अर्जुन दास (32) ने बताया कि उसने अपनी 12 एकड़ भूमि पर कपास-नरमा की बिजाई की हुई है। उसे टयूब्बैल का कनेक्शन लिए हुए को दो वर्ष बीत चुके हैं। लेकिन गांव में तैनात लाईनमैन धर्मपाल उससे टयूब्बैल की पार्टी मांगता है। सोमवार शाम को लाईनमैन उसके पास आया और उससे टयूब्बैल की पार्टी मांगने लगा। लेकिन उसने इंकार कर दिया। गुस्से में लाल धर्मपाल ने उसके टयूब्बैल का कनेक्शन काट दिया और बोला की पार्टी दे जाना और कनेक्शन लग जाएगा। अर्जुन दास के अनुसार अपनी फसल को बचाने के लिए वह टयूब्बैल का कनेक्शन करना चाहता था। मंगलवार सुबह वह अपने पड़ौसी सन्नी को साथ लेकर टयूब्बैलों को जाती बिजली की मेन स्विच काटने के लिए निकल गया। जैसे ही उसने लाईट बंद करने का प्रयास किया तो उसे करंट लग गया।
किसान अर्जुन दास करंट लगने से बुरी तरह से घायल हो गया। उसके हाथ, टांग और पैरों पर गंभीर चोट आई। मौका पर खड़े अर्जुन दास के पड़ौसी सन्नी ने उसे उपचार के लिए डबवाली के एक निजी अस्पताल में पहुंचाया। इस संदर्भ में जब दक्षिण हरियाणा बिजली वितरण निगम के मण्डल अभियंता बी.के. रंजन से बातचीत की गई तो उन्होंने कहा कि किसान उन्हें लाईन मैन के खिलाफ लिखकर दे, तो वे मामले की जांच करवाएंगे। किसान ने खुद जोखिम मोल लिया। किसान को इसकी सूचना विभाग के उच्च अधिकारियों से करनी चाहिए थी। लेकिन किसान ने बिजली निगम के सिस्टम से छेडख़ानी करके गलत किया। इसके चलते किसान पर भी कानूनी कार्रवाई बनती है।
लड़की पर ओपरी हवा का साया!
डबवाली (लहू की लौ) गांव अलीकां की एक पंद्रह साल की लड़की डबवाली के सरकारी अस्पताल में बदहवासी हालत में पड़ी है। लड़की के साथ क्या घटना घटित हुई यह किसी को मालूम नहीं। लड़की की अजीब स्थिति को देखते हुए पुलिस इसे ओपरी हवा का चक्कर मान रही है। यहां तक की लड़की के अभिभावक भी कुछ स्पष्ट नहीं कर रहे।
जानकारी अनुसार उपमण्डल डबवाली के गांव अलीकां में सोमवार रात को करीब 1 बजे गुरूद्वारा से अनाऊसमेंट हुई की गांव में चोर घुस आए हैं। लोग चोरों को पकडऩे के लिए घरों से बाहर आ गए। इसी दौरान गांव में रह रहे रणजीत सिंह नामक व्यक्ति की पंद्रह साल की बेटी अचानक घर से गायब हो गई। लड़की के परिजन उसकी खोज में जुट गए। लेकिन लड़की नहीं मिली। मंगलवार सुबह करीब 7 बजे रणजीत सिंह का पड़ौसी उसके पास आया। लड़की के उसके घर में होने की बात कहकर उसे घर से लेजाने को कहा। लेकिन रणजीत सिंह ने लड़की को घर लाने से इंकार कर दिया और इसकी सूचना थाना शहर पुलिस डबवाली को दी। अचानक पड़ौसी ने लड़की को दीवार से उसके घर में फेंक दिया। परिजन लड़की को डबवाली के सरकारी अस्पताल में ईलाज के लिए ले आए।
अस्पताल में नियुक्त महिला चिकित्सक डॉ. अमरदीप कौर जस्सी ने उपरोक्त मामले की पुष्टि करते हुए बताया कि लड़की के पिता रणजीत सिंह ने उन्हें उपरोक्त बात से अवगत करवाया है। उन्होंने भी लड़की के गले पर चोट के निशान पाए हैं। ऐसे निशान बलात्कार के दौरान हो सकते हैं। फिलहाल इसके बारे में ओर अधिक कुछ कहा नहीं जा सकता। स्वैब को जांच के लिए लैब में भेजा जाएगा, रिपोर्ट आने के बाद ही कुछ कहा जा सकेगा। फिलहाल लड़की ब्यान देने की स्थिति में नही है। उन्होंने एमएलआर काटकर थाना शहर पुलिस में भेज दी है।
मामले की जांच कर रहे थाना शहर पुलिस के एएसआई कैलाश चन्द्र ने बताया कि सूचना मिलने पर वे गांव अलीकां में गए थे। उस समय लड़की अपने घर की जमीन पर पड़ी हुई अजीबों गरीब हरकतें कर रही थी। जैसे उस पर ओपरी हवा का प्रभाव हो। फिलहाल लड़की अस्पताल में उपचाराधीन है और ब्यान देने के काबिल नहीं है। लड़की के ब्यानों के बाद ही मामला पता चल पाएगा।
इस संदर्भ में इस संवाददाता ने लड़की के पिता रणजीत सिंह से बात करने का भी प्रयास किया। उन्होंने अधिक कुछ नहीं बताया। इतना कहा कि जरूर उसकी लड़की के साथ कुछ गलत हुआ है। लड़की होश में आ जाए, सब मालूम पड़ जाएगा। रणजीत सिंह के परिवार की महिलाओं ने भी लड़की पर ओपरी हवा होने की बात कही।
सोमवार रात करीब 1 बजे के बाद लड़की अपने घर से गायब होकर पड़ौस के घर में कैसी पहुंची और उसके साथ क्या घटना घटित हुई, इस पर अभी संशय बरकरार है। लड़की डबवाली के सरकारी अस्पताल में अजीबो-गरीब हरकतें कर रही है। लेकिन बोलती कुछ नहीं। मामला क्या है, इसके बारे में लड़की के नॉर्मल होने का इंतजार किया जा रहा है।
जानकारी अनुसार उपमण्डल डबवाली के गांव अलीकां में सोमवार रात को करीब 1 बजे गुरूद्वारा से अनाऊसमेंट हुई की गांव में चोर घुस आए हैं। लोग चोरों को पकडऩे के लिए घरों से बाहर आ गए। इसी दौरान गांव में रह रहे रणजीत सिंह नामक व्यक्ति की पंद्रह साल की बेटी अचानक घर से गायब हो गई। लड़की के परिजन उसकी खोज में जुट गए। लेकिन लड़की नहीं मिली। मंगलवार सुबह करीब 7 बजे रणजीत सिंह का पड़ौसी उसके पास आया। लड़की के उसके घर में होने की बात कहकर उसे घर से लेजाने को कहा। लेकिन रणजीत सिंह ने लड़की को घर लाने से इंकार कर दिया और इसकी सूचना थाना शहर पुलिस डबवाली को दी। अचानक पड़ौसी ने लड़की को दीवार से उसके घर में फेंक दिया। परिजन लड़की को डबवाली के सरकारी अस्पताल में ईलाज के लिए ले आए।
अस्पताल में नियुक्त महिला चिकित्सक डॉ. अमरदीप कौर जस्सी ने उपरोक्त मामले की पुष्टि करते हुए बताया कि लड़की के पिता रणजीत सिंह ने उन्हें उपरोक्त बात से अवगत करवाया है। उन्होंने भी लड़की के गले पर चोट के निशान पाए हैं। ऐसे निशान बलात्कार के दौरान हो सकते हैं। फिलहाल इसके बारे में ओर अधिक कुछ कहा नहीं जा सकता। स्वैब को जांच के लिए लैब में भेजा जाएगा, रिपोर्ट आने के बाद ही कुछ कहा जा सकेगा। फिलहाल लड़की ब्यान देने की स्थिति में नही है। उन्होंने एमएलआर काटकर थाना शहर पुलिस में भेज दी है।
मामले की जांच कर रहे थाना शहर पुलिस के एएसआई कैलाश चन्द्र ने बताया कि सूचना मिलने पर वे गांव अलीकां में गए थे। उस समय लड़की अपने घर की जमीन पर पड़ी हुई अजीबों गरीब हरकतें कर रही थी। जैसे उस पर ओपरी हवा का प्रभाव हो। फिलहाल लड़की अस्पताल में उपचाराधीन है और ब्यान देने के काबिल नहीं है। लड़की के ब्यानों के बाद ही मामला पता चल पाएगा।
इस संदर्भ में इस संवाददाता ने लड़की के पिता रणजीत सिंह से बात करने का भी प्रयास किया। उन्होंने अधिक कुछ नहीं बताया। इतना कहा कि जरूर उसकी लड़की के साथ कुछ गलत हुआ है। लड़की होश में आ जाए, सब मालूम पड़ जाएगा। रणजीत सिंह के परिवार की महिलाओं ने भी लड़की पर ओपरी हवा होने की बात कही।
सोमवार रात करीब 1 बजे के बाद लड़की अपने घर से गायब होकर पड़ौस के घर में कैसी पहुंची और उसके साथ क्या घटना घटित हुई, इस पर अभी संशय बरकरार है। लड़की डबवाली के सरकारी अस्पताल में अजीबो-गरीब हरकतें कर रही है। लेकिन बोलती कुछ नहीं। मामला क्या है, इसके बारे में लड़की के नॉर्मल होने का इंतजार किया जा रहा है।
31 अगस्त 2010
18 वर्षों से कैद में हीरा
डबवाली (लहू की लौ) पिछले 18 वर्षों से जंजीरों में जकड़ा गांव पन्नीवाला रूलदू का हीरा अपनी चमक खो चुका है। तेज रफ्तार से दौड़ रही इस दुनियां से बेखबर होकर वह घर के एक कोने में कैदी की भांति जिंदगी जी रहा है।
गुरदीप उर्फ हीरा भाईयों में से सबसे छोटा है। उसकी उम्र 35 वर्ष हो चुकी है। बाल्यकाल से ही हीरा किसी से कुछ नहीं कहता था। स्कूल से वापिस घर आने के बाद वह गुमसुम सा घर के एक कोने में बैठा रहता। जैसे-तैसे उसने गांव के सरकारी स्कूल से पांचवी पास की। लेकिन 6वीं में प्रवेश पाते ही उसने स्कूल जाना छोड़ दिया। जवानी में पांव रखते ही उसे न जाने क्या हुआ वह घर के सदस्यों से बदसलूकी करने लगा। इसी दौरान हीरा के पिता कौर सिंह की हृदय घात से मौत हो गई। वे सिंचाई विभाग में कार्यरत थे। पिता की मौत के बाद हीरा और तनाव में रहने लगा। वह परिवार के सदस्यों से मारपीट भी करने लगा। बिना बताए वह घर से दूर जाने लगा। सूचना मिलने पर परिवार के सदस्य उसे ढूंढकर घर वापिस लाते। हीरा का चैकअप सिरसा और बठिंडा के डॉक्टरों को भी करवाया। डॉक्टरों की सलाह थी कि हीरा मानसिक रूप से बीमार है। उसे घर में ही रखें। हीरा की माता हरबंस कौर (65) निवासी पन्नीवाला रूलदू ने बताया कि उसके तीन बेटों में से हीरा सबसे छोटा है। उसका बड़ा बेटा कुलदीप टेलीफोन विभाग में कार्यरत था। 40 वर्ष की उम्र में उसकी मृत्यु हो गई। उसके पति कौर सिंह की मृत्यु के बाद उसकी जगह उसके मंझले बेटे सुखपाल उर्फ विजय को सिंचाई विभाग में नौकरी मिली। उसकी आशा थी कि हीरा भी पढ़ लिखकर बड़ा आदमी बने। लेकिन भगवान को कुछ ओर ही मंजूर था। शारीरिक रूप से स्वस्थ होते हुए भी 18 वर्षों से अपने बेटे को जंजीरों में कैद देख रही है। वह देखने के सिवा करे तो क्या करे।
हरबंस कौर के अनुसार हीरा को सबकुछ ज्ञात है। वह भोजन, चाय आदि मांगकर लेता है। यहां तक की बीडी पीने का भी शौकीन है। अक्सर अपने भाई से बीडी लेकर अपना शौक पूरा करता है। लेकिन जंजीर खोलते ही आपे से बाहर हो जाता है और मारने को दौड़ता है। उसकी तो बस यही अंतिम इच्छा है कि उसका बेटा सामान्य हो जाए।
इस संदर्भ में सरकारी अस्पताल के एसएमओ डॉ. विनोद महिपाल से पूछा गया तो उन्होंने बताया कि अभी उनके सामने यह मामला आया है। हीरा की पूरी मदद की जाएगी। जिला सिरसा में कोई भी मनोरोग चिकित्सक नहीं है। इसके चलते हीरा को रोहतक में भेजा जाएगा। अस्पताल की ओर से रोहतक लेजाने के लिए उसे एम्बूलैंस उपलब्ध करवाई जाएगी।
गुरदीप उर्फ हीरा भाईयों में से सबसे छोटा है। उसकी उम्र 35 वर्ष हो चुकी है। बाल्यकाल से ही हीरा किसी से कुछ नहीं कहता था। स्कूल से वापिस घर आने के बाद वह गुमसुम सा घर के एक कोने में बैठा रहता। जैसे-तैसे उसने गांव के सरकारी स्कूल से पांचवी पास की। लेकिन 6वीं में प्रवेश पाते ही उसने स्कूल जाना छोड़ दिया। जवानी में पांव रखते ही उसे न जाने क्या हुआ वह घर के सदस्यों से बदसलूकी करने लगा। इसी दौरान हीरा के पिता कौर सिंह की हृदय घात से मौत हो गई। वे सिंचाई विभाग में कार्यरत थे। पिता की मौत के बाद हीरा और तनाव में रहने लगा। वह परिवार के सदस्यों से मारपीट भी करने लगा। बिना बताए वह घर से दूर जाने लगा। सूचना मिलने पर परिवार के सदस्य उसे ढूंढकर घर वापिस लाते। हीरा का चैकअप सिरसा और बठिंडा के डॉक्टरों को भी करवाया। डॉक्टरों की सलाह थी कि हीरा मानसिक रूप से बीमार है। उसे घर में ही रखें। हीरा की माता हरबंस कौर (65) निवासी पन्नीवाला रूलदू ने बताया कि उसके तीन बेटों में से हीरा सबसे छोटा है। उसका बड़ा बेटा कुलदीप टेलीफोन विभाग में कार्यरत था। 40 वर्ष की उम्र में उसकी मृत्यु हो गई। उसके पति कौर सिंह की मृत्यु के बाद उसकी जगह उसके मंझले बेटे सुखपाल उर्फ विजय को सिंचाई विभाग में नौकरी मिली। उसकी आशा थी कि हीरा भी पढ़ लिखकर बड़ा आदमी बने। लेकिन भगवान को कुछ ओर ही मंजूर था। शारीरिक रूप से स्वस्थ होते हुए भी 18 वर्षों से अपने बेटे को जंजीरों में कैद देख रही है। वह देखने के सिवा करे तो क्या करे।
हरबंस कौर के अनुसार हीरा को सबकुछ ज्ञात है। वह भोजन, चाय आदि मांगकर लेता है। यहां तक की बीडी पीने का भी शौकीन है। अक्सर अपने भाई से बीडी लेकर अपना शौक पूरा करता है। लेकिन जंजीर खोलते ही आपे से बाहर हो जाता है और मारने को दौड़ता है। उसकी तो बस यही अंतिम इच्छा है कि उसका बेटा सामान्य हो जाए।
इस संदर्भ में सरकारी अस्पताल के एसएमओ डॉ. विनोद महिपाल से पूछा गया तो उन्होंने बताया कि अभी उनके सामने यह मामला आया है। हीरा की पूरी मदद की जाएगी। जिला सिरसा में कोई भी मनोरोग चिकित्सक नहीं है। इसके चलते हीरा को रोहतक में भेजा जाएगा। अस्पताल की ओर से रोहतक लेजाने के लिए उसे एम्बूलैंस उपलब्ध करवाई जाएगी।
29 अगस्त 2010
शादी रचाकर खाया जहर, प्रेमी की मौत
डबवाली | डबवाली के गांव बिज्जुवाली से शुक्रवार रात भागकर एक प्रेमी युगल ने रानियां के गांव सादेवाला के हनुमान मंदिर में शादी रचाई, और शनिवार सुबह 6 बजे के करीब दोनों ने सल्फास खाकर जान देने की कोशिश की। सल्फास के असर से प्रेमी की मौत हो गई और प्रेमिका सिरसा के सिविल अस्पताल में भर्ती है। उसकी हालत में सुधार है।
गांव कुस्सर में रहने वाले बलदेव सिंह का बेटा हरपाल सिंह (22) ड्राइवर है। हरपाल की बुआ जसविंद्र कौर गांव बिज्जुवाली में ब्याही हैं। इस वजह से उसका अक्सर गांव बिज्जुवाली में आना जाना लगा रहता था। बार बार के आने जाने से बुआ के पड़ोस में रहने वाले वीरचंद की पुत्री सरोज (19) और हरपाल के बीच प्रेम प्रसंग शुरू हो गया। इस बात की भनक युवती के परिजनों को भी थी और उन्होंेने हरपाल को समझाया भी, लेकिन वह नहीं माना। शुक्रवार रात वह गांव बिज्जुवाली आया और दोनों गांव से भाग निकले।
मंदिर में रचाई शादी
सरोज और हरपाल पहले गांव सादेवाला के हनुमान मंदिर पहुंचे जहां दोनों ने प्रेम विवाह किया। दोनों रात के मंदिर के पास बनी एक ढाणी में रुके और यहां पर हरपाल ने अपनी शादी के जश्न में शराब भी पी। सुबह करीब 6 बजे एकाएक उसने अपनी जेब से सल्फास की गोलियां निकालीं और पानी में घोल कर खुद पीया और सरोज को भी पीने को कहा। सल्फास का घोल पीते ही हरपाल ने दम तोड़ दिया और सरोज की तबीयत बिगड़ने लगी।
सुबह जब गांव सादेवाला का सरपंच सुखविंद्र ने इन दोनों को बेहोश देखा तो तुरंत पुलिस को सूचना दी। सूचना पाकर पुलिस मौके पर पहुंची। पुलिस पूछताछ के दौरान होश में आई सरोज ने बताया कि हरपाल ने सल्फास की गोलियां खाईं और उसे भी पीने को कहा, लेकिन उसने थोड़ी मात्रा में पी, जबकि हरपाल पूरा घोल पी गया था। सरोज ने बताया कि उन्होंने डरते हुए शादी रचाई, क्योंकि दोनों के घरवाले खिलाफ थे और शायद इसी डर से हरपाल ने यह कदम उठाया।
गांव कुस्सर में रहने वाले बलदेव सिंह का बेटा हरपाल सिंह (22) ड्राइवर है। हरपाल की बुआ जसविंद्र कौर गांव बिज्जुवाली में ब्याही हैं। इस वजह से उसका अक्सर गांव बिज्जुवाली में आना जाना लगा रहता था। बार बार के आने जाने से बुआ के पड़ोस में रहने वाले वीरचंद की पुत्री सरोज (19) और हरपाल के बीच प्रेम प्रसंग शुरू हो गया। इस बात की भनक युवती के परिजनों को भी थी और उन्होंेने हरपाल को समझाया भी, लेकिन वह नहीं माना। शुक्रवार रात वह गांव बिज्जुवाली आया और दोनों गांव से भाग निकले।
मंदिर में रचाई शादी
सरोज और हरपाल पहले गांव सादेवाला के हनुमान मंदिर पहुंचे जहां दोनों ने प्रेम विवाह किया। दोनों रात के मंदिर के पास बनी एक ढाणी में रुके और यहां पर हरपाल ने अपनी शादी के जश्न में शराब भी पी। सुबह करीब 6 बजे एकाएक उसने अपनी जेब से सल्फास की गोलियां निकालीं और पानी में घोल कर खुद पीया और सरोज को भी पीने को कहा। सल्फास का घोल पीते ही हरपाल ने दम तोड़ दिया और सरोज की तबीयत बिगड़ने लगी।
सुबह जब गांव सादेवाला का सरपंच सुखविंद्र ने इन दोनों को बेहोश देखा तो तुरंत पुलिस को सूचना दी। सूचना पाकर पुलिस मौके पर पहुंची। पुलिस पूछताछ के दौरान होश में आई सरोज ने बताया कि हरपाल ने सल्फास की गोलियां खाईं और उसे भी पीने को कहा, लेकिन उसने थोड़ी मात्रा में पी, जबकि हरपाल पूरा घोल पी गया था। सरोज ने बताया कि उन्होंने डरते हुए शादी रचाई, क्योंकि दोनों के घरवाले खिलाफ थे और शायद इसी डर से हरपाल ने यह कदम उठाया।
26 अगस्त 2010
दादी की हत्या करने वाला पोता धरा
बठिंडा (सिंगला/शर्मा) बाबा दीप सिंह नगर गली नं. 9 में 23—24 अगस्त की मध्यरात्रि को गुरप्रीत सिंह गोपी ने अपनी दादी का गला घोंटकर कत्ल कर दिया था वहीं कैनाल कॉलोनी पुलिस ने उक्त मामले में मृतका की लड़की नसीब कौर के बयानों पर गुरप्रीत सिंह गोपी तथा उसके दोस्त गोबिंद सिंह के खिलाफ अधीन धारा 302, 34 आईपीसी के तहत मामला दर्ज कर लिया था और मात्र 24 घंटे में ही पुलिस ने गुरप्रीत सिंह गोपी को गिरफ्तार करने में सफलता प्राप्त कर ली।
आज पत्रकार वार्ता दौरान डीएसपी(एच) शैलेंद्र सिंह ने बताया कि गुरप्रीत सिंह के पिता दर्शन सिंह भी रोड एक्सीडैंट में मौत हो गई थी वहीं उसकी मां घर परिवार छोड़कर जालंधर चली गई थी इस कारण गुरप्रीत को माता-पिता का प्यार नसीब नहीं हुआ जिसको उसकी दादी सुरजीत कौर ने पाल पोसकर बड़ा किया था पर गुरप्रीत के नशे के आदी होने के कारण तथा मोगा की रहने वाली दो बच्चों की मां के साथ उसके अवैध संबंधों के कारण उसको सुरजीत कौर ने घर से निकाल दिया था। उन्होंने बताया कि सुरजीत कौर को गुरप्रीत के पिता की दुर्घटना में मौत होने के कारण करीब 4.5 लाख रूपये भी मिले थे पर गुरप्रीत को इसमें से कोई हिस्सा नहीं मिला इस कारण गुरप्रीत एक तो प्यार न मिलने के कारण चिड़चिड़ा हो गया था तथा दूसरी तरफ उसको पैसों का लालच भी आ गया था जिस कारण उसने अपनी दादी का कत्ल कर दिया था जिसको आज सुबह डबवाली रोड से गिरफ्तार कर लिया है जिससे उसकी दादी के गहने भी बरामद कर लिये हैं तथा उसको आज मानयोग अदालत में पेश किया जाना है वहीं बाकी रहते मामलों की जांच की जा रही है कि गोबिंद सिंह तथा गुरप्रीत की माशूका का इस कत्ल में कुछ रोल है या नहीं। इस मौके डीएसपी के साथ एसएचओ कैनाल कॉलोनी यूसी चावला, वर्धमान चौंकी इंचार्ज अंग्रेज सिंह भी उपस्थित थे।
आज पत्रकार वार्ता दौरान डीएसपी(एच) शैलेंद्र सिंह ने बताया कि गुरप्रीत सिंह के पिता दर्शन सिंह भी रोड एक्सीडैंट में मौत हो गई थी वहीं उसकी मां घर परिवार छोड़कर जालंधर चली गई थी इस कारण गुरप्रीत को माता-पिता का प्यार नसीब नहीं हुआ जिसको उसकी दादी सुरजीत कौर ने पाल पोसकर बड़ा किया था पर गुरप्रीत के नशे के आदी होने के कारण तथा मोगा की रहने वाली दो बच्चों की मां के साथ उसके अवैध संबंधों के कारण उसको सुरजीत कौर ने घर से निकाल दिया था। उन्होंने बताया कि सुरजीत कौर को गुरप्रीत के पिता की दुर्घटना में मौत होने के कारण करीब 4.5 लाख रूपये भी मिले थे पर गुरप्रीत को इसमें से कोई हिस्सा नहीं मिला इस कारण गुरप्रीत एक तो प्यार न मिलने के कारण चिड़चिड़ा हो गया था तथा दूसरी तरफ उसको पैसों का लालच भी आ गया था जिस कारण उसने अपनी दादी का कत्ल कर दिया था जिसको आज सुबह डबवाली रोड से गिरफ्तार कर लिया है जिससे उसकी दादी के गहने भी बरामद कर लिये हैं तथा उसको आज मानयोग अदालत में पेश किया जाना है वहीं बाकी रहते मामलों की जांच की जा रही है कि गोबिंद सिंह तथा गुरप्रीत की माशूका का इस कत्ल में कुछ रोल है या नहीं। इस मौके डीएसपी के साथ एसएचओ कैनाल कॉलोनी यूसी चावला, वर्धमान चौंकी इंचार्ज अंग्रेज सिंह भी उपस्थित थे।
पीआरटीसी पेंशनरों ने डिपो एमडी की अर्थी फूंकी
बठिंडा (सिंगला/शर्मा) लंबे समय से लटकती आ रही मांगों को लेकर पीआरटीसी पैंशनरों ने बुधवार को बठिंडा बस स्टैंड के आगे पीआरटीसी के एमडी की अर्थी फूंकी।
इस मौके पर किये गये रोष धरने को संबोधित कर रहे पीआरटीसी पैंशनर्स एसोसिएशन के महासचिव कुलदीप सिंह ने बताया कि एसोसिएशन की मांगों के संबंध में 9 अगस्त को पटियाला में एमडी के मुख्य कार्यालय पटियाला में पीआरटीसी के पैंशनरों की मीटिंग थी। जिसमें एमडी पैंशनरों की मांगों को सुने बिना ही वहां से उठकर चले गए। इसी बात को लेकर पैंशनरों में एमडी के खिलाफ काफी रोष पाया जा रहा है। इसी संदर्भ में सभी पीआरटीसी के डिपुओं के सामने एमडी की अर्थी फूंककर रोष प्रदर्शनों को किया गया। रोष प्रदर्शन का नेतृत्व कर रहे प्रीतम सिंह बराड़ व महासचिव कुलदीप सिंह लांबा ने यूनियन वर्करों की मांगों के बारे में विस्तारपूर्वक बताया। उन्होंने बताया कि पैंशनरों की काफी लंबे समय से डीऐ की किस्तों का भुगतान न होना, आठ प्रतिशत डीऐ की किशत जुलाई 2010 से ना देना, पांचवें पे कमीशन का बढ़ा हुआ बकाया सभी पैंशनरों को न देना, सेवा मुक्त हुए पैंशनरों के बकाया लंबे समय से अदा ना करना। फैमली पासों में सोध न करना, मेडिकल बिलों का भुगतान पंजाब सरकार के आदेशों के अनुसार न करना आदि शामिल है। गुरबचन सिंह जस्सी प्रधान ने मैनेजमेंंट व पंजाब सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि अगर जल्द ही उनकी मांगों को पूरा न किया गया तो इसके विरोध में यूनियन के सदस्य अपने संघर्ष को ओर तेज करेंगे।
इस मौके पर किये गये रोष धरने को संबोधित कर रहे पीआरटीसी पैंशनर्स एसोसिएशन के महासचिव कुलदीप सिंह ने बताया कि एसोसिएशन की मांगों के संबंध में 9 अगस्त को पटियाला में एमडी के मुख्य कार्यालय पटियाला में पीआरटीसी के पैंशनरों की मीटिंग थी। जिसमें एमडी पैंशनरों की मांगों को सुने बिना ही वहां से उठकर चले गए। इसी बात को लेकर पैंशनरों में एमडी के खिलाफ काफी रोष पाया जा रहा है। इसी संदर्भ में सभी पीआरटीसी के डिपुओं के सामने एमडी की अर्थी फूंककर रोष प्रदर्शनों को किया गया। रोष प्रदर्शन का नेतृत्व कर रहे प्रीतम सिंह बराड़ व महासचिव कुलदीप सिंह लांबा ने यूनियन वर्करों की मांगों के बारे में विस्तारपूर्वक बताया। उन्होंने बताया कि पैंशनरों की काफी लंबे समय से डीऐ की किस्तों का भुगतान न होना, आठ प्रतिशत डीऐ की किशत जुलाई 2010 से ना देना, पांचवें पे कमीशन का बढ़ा हुआ बकाया सभी पैंशनरों को न देना, सेवा मुक्त हुए पैंशनरों के बकाया लंबे समय से अदा ना करना। फैमली पासों में सोध न करना, मेडिकल बिलों का भुगतान पंजाब सरकार के आदेशों के अनुसार न करना आदि शामिल है। गुरबचन सिंह जस्सी प्रधान ने मैनेजमेंंट व पंजाब सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि अगर जल्द ही उनकी मांगों को पूरा न किया गया तो इसके विरोध में यूनियन के सदस्य अपने संघर्ष को ओर तेज करेंगे।
25 अगस्त 2010
तस्करों और पुलिस कर्मियों में झड़प, एक तस्कर दबोचा
डबवाली (लहू की लौ) थाना शहर पुलिस ने पंजाब में सप्लाई होने जा रहे हजारों रूपए कीमत के अफीम दूध की एक बड़ी खेप पकडऩे में सफलता हासिल की है। तस्करों ने पुलिस के साथ हाथापाई भी की। इस दौरान एक तस्कर भागने में सफल रहा। जबकि एक दबोचा गया।
थाना शहर डबवाली के प्रभारी उपनिरीक्षक विक्रम नेहरा ने बताया कि उनके नेतृत्व में एसआई भागीरथ तथा एएसआई सूबे सिंह यादव सहित पुलिस पार्टी ने गांव शेरगढ से बडिंगखेडा (पंजाब) जाने वाले कच्चे मार्ग पर नाकाबंदी की हुई थी। इसी दौरान गांव शेरगढ की तरफ से डिस्कवर बाईक पर सवार दो युवक आए। युवकों को पुलिस ने जैसे ही रूकने का इशारा किया तो उन्होने मौके से फरार होने का प्रयास किया। इसी बीच उनकी पुलिस पार्टी के साथ झड़प भी हुई। इस दौरान एक युवक भाग निकला। परंतु उनमें से एक बाईक सहित पुलिस के हत्थे चढ़ गया। शक के आधार पर पुलिस ने जब युवक की तलाशी ली तो उसके पास से अफीम दूध बरामद हुई, जिसका वजन एक किलो पांच सौ ग्राम था।
थाना प्रभारी ने बताया कि उक्त आरोपियों ने पुलिस की सरकारी डयूटी में बाधा डालने का प्रयास भी किया तथा पुलिस कर्मियों से दुव्र्यवहार किया। दोनो आरोपियों के खिलाफ मादक पदार्थ अधिनियम तथा सरकारी कार्य में बाधा डालने की धाराओं 332, 353, 186 के तहत अभियोग दर्ज किया गया है। गिरफ्तार किए गए युवक की पहचान कृष्ण (28) पुत्र भागीरथ निवासी शेरगढ के रूप में हुई है। जबकि फरार हुए युवक की पहचान बिंद्र (35) पुत्र गुरचरण निवासी शेरगढ के रूप में हुई है। थाना शहर प्रभारी के अनुसार बाईक को बिंद्र चला रहा था। पकड़े गए आरोपी ने पूछताछ के दौरान पुलिस के समक्ष स्वीकार किया कि उन्होंने इस खेप को पंजाब के जिला मुक्तसर के गांवों में सप्लाई करना था। पकड़े गए अफीम दूध की कीमत करीब डेढ़ लाख रूपए आंकी जा रही है। पुलिस ने पकड़े गए आरोपी को उपमण्डल न्यायिक दण्डाधिकारी महावीर सिंह की अदालत में पेश किया और अदालत ने उसे 14 दिन के लिए न्यायिक हिरासत में भेजने के आदेश दिए।
थाना शहर डबवाली के प्रभारी उपनिरीक्षक विक्रम नेहरा ने बताया कि उनके नेतृत्व में एसआई भागीरथ तथा एएसआई सूबे सिंह यादव सहित पुलिस पार्टी ने गांव शेरगढ से बडिंगखेडा (पंजाब) जाने वाले कच्चे मार्ग पर नाकाबंदी की हुई थी। इसी दौरान गांव शेरगढ की तरफ से डिस्कवर बाईक पर सवार दो युवक आए। युवकों को पुलिस ने जैसे ही रूकने का इशारा किया तो उन्होने मौके से फरार होने का प्रयास किया। इसी बीच उनकी पुलिस पार्टी के साथ झड़प भी हुई। इस दौरान एक युवक भाग निकला। परंतु उनमें से एक बाईक सहित पुलिस के हत्थे चढ़ गया। शक के आधार पर पुलिस ने जब युवक की तलाशी ली तो उसके पास से अफीम दूध बरामद हुई, जिसका वजन एक किलो पांच सौ ग्राम था।
थाना प्रभारी ने बताया कि उक्त आरोपियों ने पुलिस की सरकारी डयूटी में बाधा डालने का प्रयास भी किया तथा पुलिस कर्मियों से दुव्र्यवहार किया। दोनो आरोपियों के खिलाफ मादक पदार्थ अधिनियम तथा सरकारी कार्य में बाधा डालने की धाराओं 332, 353, 186 के तहत अभियोग दर्ज किया गया है। गिरफ्तार किए गए युवक की पहचान कृष्ण (28) पुत्र भागीरथ निवासी शेरगढ के रूप में हुई है। जबकि फरार हुए युवक की पहचान बिंद्र (35) पुत्र गुरचरण निवासी शेरगढ के रूप में हुई है। थाना शहर प्रभारी के अनुसार बाईक को बिंद्र चला रहा था। पकड़े गए आरोपी ने पूछताछ के दौरान पुलिस के समक्ष स्वीकार किया कि उन्होंने इस खेप को पंजाब के जिला मुक्तसर के गांवों में सप्लाई करना था। पकड़े गए अफीम दूध की कीमत करीब डेढ़ लाख रूपए आंकी जा रही है। पुलिस ने पकड़े गए आरोपी को उपमण्डल न्यायिक दण्डाधिकारी महावीर सिंह की अदालत में पेश किया और अदालत ने उसे 14 दिन के लिए न्यायिक हिरासत में भेजने के आदेश दिए।
ईंट भट्ठों में गूंजेगा क,ख,ग
चण्डीगढ़। हरियाणा में ईंट-भट्ठों में कार्य करने वाले लोगों के बच्चों को बेहतर गुणवत्ता की शिक्षा प्रदान करने, मिड-डे-मील योजना को और प्रभावी बनाने तथा संसाधनों का समुचित उपयोग सुनिश्चित करने के लिए राज्य सरकार ने एक कलस्टर रूट अपनाने और प्रतिष्ठिïत एवं विश्वसनीय स्वैच्छिक एजेंसियों को वैकल्पिक अनूठे शिक्षा केन्द्र, जोकि 'भट्ठपाठशालाÓ के नाम से प्रसिद्घ हैं, स्थापित करने एवं संचालिक करने का कार्य सौंपने का निर्णय लिया है।
प्रदेश मेंं ईंट-भ_ïों पर कार्य परिस्थितियों को सुधारने के लिए विभिन्न विभागों द्वारा किए जा रहे कार्यों की समीक्षा करने के लिए हरियाणा की मुख्य सचिव श्रीमती उर्वशी गुलाटी की अध्यक्षता में आज यहां हुई एक बैठक में यह जानकारी दी गई। ईंट-भ_ïा मौसम आमतौर पर वर्ष में अक्तूबर मास से शुरू होकर मई मास तक चलता है।
श्रीमती गुलाटी ने निर्देश किए कि ईंट-भट्ठा मौसम शुरू होने से पहले सभी आरम्भिक कार्य शुरू कर दिए जाएं ताकि ईंट-भ_ïों में कार्य करने वाले श्रमिकों की समस्याओं को कम किया जा सके। प्रदेश के ईंट-भ_ïों में कार्य करने वाले श्रमिकों के लिए सम्बन्धित प्राधिकरणोंं एवं विभागों द्वारा स्वास्थ्य सेवाएं, उनके बच्चों के लिए शिक्षा तथा आवश्यक वस्तुओं की उपलब्धता का प्रावधान करने के अलावा उनका मेहनताना भी सुनिश्चित किया जाएगा।
मुख्य सचिव ने स्वास्थ्य विभाग को निर्देश दिए कि प्रत्येक र्इंट-भ_ïे पर श्रमिकों के लिए उसी प्रकार स्वास्थ्य सेवाएं सुनिश्चित की जाएं, जैसेकि पहले मोबाईल वैनस की मदद से चिकित्सा अधिकारियों तथा सहायक स्टाफ द्वारा ईंट-भ_ïों का दौरा करके उपलब्ध करवाई जाती रही हैं।
बैठक में बताया गया कि एक योजना बनाई गई है जिसके तहत जिला में ईंट-भ_ïों के समूह के लिए एक स्थल पर भ_ïा पाठशाला खोली जाएगी ताकि श्रमिकों के बच्चों को शिक्षा उपलब्ध करवाई जा सके। इस कार्य के लिए पात्र स्वैछिक एजेंसियों से आवेदन आमंत्रित किए जाएंगे। इस कार्य के लिए एजेंसियों को सूचीबद्घ करने की प्रक्रिया समाप्त होने के उपरांत अक्तूबर एवं नवम्बर में बच्चों के दाखिले किए जाएंगे। भ_ïा पाठशाला अब एक दिन में चार घण्टों के बजाए छ: घण्टों के लिए चलाई जाएंगी।
बैठक में यह भी बताया गया कि सर्वशिक्षा अभियान की वैकल्पिक अनूठी शिक्षा योजना को और आगे बढ़ा दिया गया है ताकि ईंट भ_ïा परिसरों में अपने माता-पिता के साथ रहने वाले छ: से 14 वर्ष की आयु वर्ग के सभी मौसमी प्रवासी बच्चों को इस योजना का लाभ उपलब्ध करवाया जा सके। भ_ïा पाठशालाओं में बच्चों को शिक्षा के साथ-साथ शिक्षण एवं अध्ययन सामग्री, उपकरण तथा अन्य सुविधाएं भी उपलब्ध करवाई जाती हैं। सतही वास्तविकताओं के आधार पर ही कलस्टर पद्घति निर्धारित की गई है। प्रदेश में हजारों ईंट-भ_ïे हैं और उनमें से अधिकतर में स्कूल न जाने वाले बच्चों की संख्या बहुत कम है। प्रत्येक ईंट-भ_ïे पर स्कूल स्थापित करना न तो सम्भव है और न ही उचित, इसलिए सभी बच्चों को दाखिला दिलाने के लिए निकटवर्ती ईंट-भ_ïों का एक समूह बनाकर एक सुविधाजनक स्थल पर भ_ïा पाठशाला स्थापित करने का निर्णय लिया गया है। ऐसा किए जाने से इन पाठशालाओं का परिविक्षण करना सरल होगा और साथ ही संसाधनों का उचित उपयोग और शिक्षा एवं उपलब्ध सुविधाओं की गुणवत्ता को सुधारने में भी मदद मिलेगी। कलस्टरस, जहां भ_ïा पाठशालाएं स्थापित की जानी हैं, की सूची पहले ही तैयार की जा चुकी है।
भ_ïा पाठशालाओं में बच्चों को मिड-डे-मिल उपलब्ध करवाने की प्रणाली को भी अंतिम रूप दिया जा चुका है। गैर सरकारी संगठनों की मदद से उन्हें गर्म एवं ताजा तैयार पौष्टिक भोजन उपलब्ध करवाने के प्रयास किए जाएंगे, जिसके लिए जिला प्रशासन द्वारा राशन की आपूर्ति की जाएगी। बेहतर विकल्प उपलब्ध न होने की स्थिति में निकटवर्ती सरकारी स्कूल, जहां रसोइयों द्वारा बच्चों के लिए भोजन तैयार किया जाता है, से इस कार्य में मदद ली जाएगी। बहरहाल, बच्चों को ताजा एवं पौष्टिïक भोजन उपलब्ध करवाया जाना सुनिश्चित करने के लिए सम्बन्धित अतिरिक्त उपायुक्त द्वारा भ_ïा पाठशालाओं का दौरा किया जाएगा।
वर्ष 2009-10 के दौरान ईंट-भ_ïों में पात्र बच्चों का सर्वेक्षण करवाने के उपरांत विभिन्न जिलों में 681 भ_ïा पाठशालाएं स्थापित की गई और उनमें लगभग 17000 प्रवासी बच्चों को दाखिला दिया गया। इन 681 भ_ïा पाठशालाओं में से अधिकतम 50 अम्बाला जिला में, 21 भिवानी में, 42 फरीदाबाद में, 35-35 फतेहाबाद एवं जींद में, आठ गुडग़ांव में, 46 हिसार में, 25 झज्जर में, 21 कैथल में, नौ करनाल में, 40 कुरूक्षेत्र में, 30-30 महेन्द्रगढ़ एवं मेवात में, 39 पलवल में, 45 पानीपत में, 29 पंचकूला में, 40 रोहतक में, 33 रेवाड़ी में, 24 सिरसा में, 47 सोनीपत में और 32 यमुनानगर में स्थापित की गईं।
बैठक में बताया गया कि ईंट भटï्ठों पर कार्य करने के लिए आने के बाद श्रमिकों को खाद्य एवं आपूर्ति विभाग द्वारा राशन कार्ड जारी किए जाएंगे, ताकि उन्हें सस्ते मूल्यों पर आवश्यक वस्तुएं उपलब्ध करवाई जा सकें। सम्बन्धित जिला प्रशासन के वरिष्ठï अधिकारियों द्वारा अपने क्षेत्रों के ईंट-भ_ïों का दौरा करके श्रमिकों का उचित मेहनताना भी सुनिश्चित किया जाएगा। श्रम विभाग के कर्मचारियों द्वारा श्रमिकों के उचित मेहनताने के साथ-साथ उनका बीमा भी सुनिश्चित किया जाएगा।
प्रदेश मेंं ईंट-भ_ïों पर कार्य परिस्थितियों को सुधारने के लिए विभिन्न विभागों द्वारा किए जा रहे कार्यों की समीक्षा करने के लिए हरियाणा की मुख्य सचिव श्रीमती उर्वशी गुलाटी की अध्यक्षता में आज यहां हुई एक बैठक में यह जानकारी दी गई। ईंट-भ_ïा मौसम आमतौर पर वर्ष में अक्तूबर मास से शुरू होकर मई मास तक चलता है।
श्रीमती गुलाटी ने निर्देश किए कि ईंट-भट्ठा मौसम शुरू होने से पहले सभी आरम्भिक कार्य शुरू कर दिए जाएं ताकि ईंट-भ_ïों में कार्य करने वाले श्रमिकों की समस्याओं को कम किया जा सके। प्रदेश के ईंट-भ_ïों में कार्य करने वाले श्रमिकों के लिए सम्बन्धित प्राधिकरणोंं एवं विभागों द्वारा स्वास्थ्य सेवाएं, उनके बच्चों के लिए शिक्षा तथा आवश्यक वस्तुओं की उपलब्धता का प्रावधान करने के अलावा उनका मेहनताना भी सुनिश्चित किया जाएगा।
मुख्य सचिव ने स्वास्थ्य विभाग को निर्देश दिए कि प्रत्येक र्इंट-भ_ïे पर श्रमिकों के लिए उसी प्रकार स्वास्थ्य सेवाएं सुनिश्चित की जाएं, जैसेकि पहले मोबाईल वैनस की मदद से चिकित्सा अधिकारियों तथा सहायक स्टाफ द्वारा ईंट-भ_ïों का दौरा करके उपलब्ध करवाई जाती रही हैं।
बैठक में बताया गया कि एक योजना बनाई गई है जिसके तहत जिला में ईंट-भ_ïों के समूह के लिए एक स्थल पर भ_ïा पाठशाला खोली जाएगी ताकि श्रमिकों के बच्चों को शिक्षा उपलब्ध करवाई जा सके। इस कार्य के लिए पात्र स्वैछिक एजेंसियों से आवेदन आमंत्रित किए जाएंगे। इस कार्य के लिए एजेंसियों को सूचीबद्घ करने की प्रक्रिया समाप्त होने के उपरांत अक्तूबर एवं नवम्बर में बच्चों के दाखिले किए जाएंगे। भ_ïा पाठशाला अब एक दिन में चार घण्टों के बजाए छ: घण्टों के लिए चलाई जाएंगी।
बैठक में यह भी बताया गया कि सर्वशिक्षा अभियान की वैकल्पिक अनूठी शिक्षा योजना को और आगे बढ़ा दिया गया है ताकि ईंट भ_ïा परिसरों में अपने माता-पिता के साथ रहने वाले छ: से 14 वर्ष की आयु वर्ग के सभी मौसमी प्रवासी बच्चों को इस योजना का लाभ उपलब्ध करवाया जा सके। भ_ïा पाठशालाओं में बच्चों को शिक्षा के साथ-साथ शिक्षण एवं अध्ययन सामग्री, उपकरण तथा अन्य सुविधाएं भी उपलब्ध करवाई जाती हैं। सतही वास्तविकताओं के आधार पर ही कलस्टर पद्घति निर्धारित की गई है। प्रदेश में हजारों ईंट-भ_ïे हैं और उनमें से अधिकतर में स्कूल न जाने वाले बच्चों की संख्या बहुत कम है। प्रत्येक ईंट-भ_ïे पर स्कूल स्थापित करना न तो सम्भव है और न ही उचित, इसलिए सभी बच्चों को दाखिला दिलाने के लिए निकटवर्ती ईंट-भ_ïों का एक समूह बनाकर एक सुविधाजनक स्थल पर भ_ïा पाठशाला स्थापित करने का निर्णय लिया गया है। ऐसा किए जाने से इन पाठशालाओं का परिविक्षण करना सरल होगा और साथ ही संसाधनों का उचित उपयोग और शिक्षा एवं उपलब्ध सुविधाओं की गुणवत्ता को सुधारने में भी मदद मिलेगी। कलस्टरस, जहां भ_ïा पाठशालाएं स्थापित की जानी हैं, की सूची पहले ही तैयार की जा चुकी है।
भ_ïा पाठशालाओं में बच्चों को मिड-डे-मिल उपलब्ध करवाने की प्रणाली को भी अंतिम रूप दिया जा चुका है। गैर सरकारी संगठनों की मदद से उन्हें गर्म एवं ताजा तैयार पौष्टिक भोजन उपलब्ध करवाने के प्रयास किए जाएंगे, जिसके लिए जिला प्रशासन द्वारा राशन की आपूर्ति की जाएगी। बेहतर विकल्प उपलब्ध न होने की स्थिति में निकटवर्ती सरकारी स्कूल, जहां रसोइयों द्वारा बच्चों के लिए भोजन तैयार किया जाता है, से इस कार्य में मदद ली जाएगी। बहरहाल, बच्चों को ताजा एवं पौष्टिïक भोजन उपलब्ध करवाया जाना सुनिश्चित करने के लिए सम्बन्धित अतिरिक्त उपायुक्त द्वारा भ_ïा पाठशालाओं का दौरा किया जाएगा।
वर्ष 2009-10 के दौरान ईंट-भ_ïों में पात्र बच्चों का सर्वेक्षण करवाने के उपरांत विभिन्न जिलों में 681 भ_ïा पाठशालाएं स्थापित की गई और उनमें लगभग 17000 प्रवासी बच्चों को दाखिला दिया गया। इन 681 भ_ïा पाठशालाओं में से अधिकतम 50 अम्बाला जिला में, 21 भिवानी में, 42 फरीदाबाद में, 35-35 फतेहाबाद एवं जींद में, आठ गुडग़ांव में, 46 हिसार में, 25 झज्जर में, 21 कैथल में, नौ करनाल में, 40 कुरूक्षेत्र में, 30-30 महेन्द्रगढ़ एवं मेवात में, 39 पलवल में, 45 पानीपत में, 29 पंचकूला में, 40 रोहतक में, 33 रेवाड़ी में, 24 सिरसा में, 47 सोनीपत में और 32 यमुनानगर में स्थापित की गईं।
बैठक में बताया गया कि ईंट भटï्ठों पर कार्य करने के लिए आने के बाद श्रमिकों को खाद्य एवं आपूर्ति विभाग द्वारा राशन कार्ड जारी किए जाएंगे, ताकि उन्हें सस्ते मूल्यों पर आवश्यक वस्तुएं उपलब्ध करवाई जा सकें। सम्बन्धित जिला प्रशासन के वरिष्ठï अधिकारियों द्वारा अपने क्षेत्रों के ईंट-भ_ïों का दौरा करके श्रमिकों का उचित मेहनताना भी सुनिश्चित किया जाएगा। श्रम विभाग के कर्मचारियों द्वारा श्रमिकों के उचित मेहनताने के साथ-साथ उनका बीमा भी सुनिश्चित किया जाएगा।
राजस्व कोर्ट केस के निपटान की समीक्षा का निर्णय
चण्डीगढ़। हरियाणा सरकार ने ऑनलाइन वैब आधारित राजस्व कोर्ट केस परिवीक्षण प्रणाली के माध्यम से सभी जिलों में राजस्व कोर्ट केस के निपटान की प्रगति की समीक्षा करने का निर्णय है।
इस संबंध में आज यहां राजस्व विभाग के वित्तायुक्त एवं प्रधान सचिव श्री नरेश गुलाटी ने सभी मंडलायुक्तों एवं उपायुक्तों के साथ वीडियो कान्फ्रेंस के माध्यम से मामलों की स्थिति की विस्तृत समीक्षा की। कान्फ्रेंस के दौरान यह निर्णय लिया गया कि पुराने मामलों को प्राथमिकता के आधार पर निपटाया जाए। यदि किसी एक अधिकारी के अधीन अधिक मामले हैं, तो जिला उपायुक्तों को उपलब्ध अधिकारियों में मामलों को बांट कर कार्यभार को कम करना चाहिए। सभी उपायुक्तों को न्यायालय मामलों की जानकारी आगामी एक माह के अन्दर-अन्दर सॉफवेयर पर डालने के निर्देश दिये गये। सभी मंडलायुक्तों को नियमित आधार पर मामलों की स्थिति की समीक्षा करने तथा जहां आवश्यक हो उपचारात्मक कदम उठाने के निर्देश दिये हैं।
कान्फ्रेंस के दौरान इस बात की जानकारी दी गई कि हाल ही में बाढ़ के कारण खराब हुई खरीफ-2010 की फसलों के लिए सरकार द्वारा अतिशीघ्र राहत राशि जारी की जाएगी। प्रभावित किसानों को राहत राशि वितरित करने के लिए उपायुक्तों को तहसील अनुसार वितरण कार्यक्रम बनाने के लिए कहा गया है और इसके लिए सभी आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिये गये हंै।
प्रदेश में सार्वजनिक भूमि पर धार्मिक संस्थाओं द्वारा किये गये अनाधिकृत निर्माण को हटाने, अन्य स्थान स्थापित करने और नियमित करने की नीति के क्रियान्वयन की स्थिति पर विचार विमर्श करते हुए कुछ उपायुक्तों ने बताया कि उन्होंने ढांचे हटाने के लिए जैसा सम्भव हुआ है। कार्यवाही की है और वे नीति के अनुसार इन्हें अन्य स्थानों पर स्थापित करने और नियमित करने के लिए कार्यवाही कर रहे हैं। वित्तायुक्त एवं प्रधान सचिव, राजस्व उपायुक्तों द्वारा नीति मार्गदर्शन का अनुसरण करके कानून के अनुसार आवश्यक कार्यवाही किये जाने से प्रभावित हुए।
कान्फं्रेस के दौरान हरियाणा भूमि सुधार सूचना प्रणाली (हैलरिस), हरियाणा पंजीकरण सूचना प्रणाली (हैरिस), रैवन्यू मामलों की स्थिति तथा कोर्ट केस मोनिटरिंग सिस्टम के क्रियान्वयन तथा प्राकृतिक आपदाओं के लिए राहत वितरण की समीक्षा पर भी चर्चा की गई।
हरियाणा सरकार द्वारा तहसीलों में भूमि रिकॉर्ड के कम्प्यूटरीकरण के लिए विजुअल बैसिक सर्वर बेसड सॉफ्टवेयर सिस्टम का उपयोग किया जा रहा है। यह सॉफ्टवेयर एनआईसी हरियाणा राज्य इकाई द्वारा विकसित किया गया है और सभी उपायुक्तों दिसम्बर, 2010 तक सभी जमाबंदी ऑनलाइन करने के निर्देश दिये गये हैं। इसके अतिरिक्त, वर्तमान ऑनलाइन जमाबंदियों का नियमित रूप से अद्यतन करने पर भी बल दिया गया। इसके अतिरिक्त हरियाणा पंजीकरण सूचना प्रणाली भी एनआईसी हरियाणा द्वारा विकसित की गई है। इस प्रणाली का उद्देश्य एकल खिड़की सेवा प्रदान करना, समयबद्घ पंजीकरण, पारदर्शी और विश्वसनीय कार्य प्रणाली सुनिश्चित करना है। यह पंजीकरण से सृजित राजस्व के परिवीक्षण का एक औजार है।
इस संबंध में आज यहां राजस्व विभाग के वित्तायुक्त एवं प्रधान सचिव श्री नरेश गुलाटी ने सभी मंडलायुक्तों एवं उपायुक्तों के साथ वीडियो कान्फ्रेंस के माध्यम से मामलों की स्थिति की विस्तृत समीक्षा की। कान्फ्रेंस के दौरान यह निर्णय लिया गया कि पुराने मामलों को प्राथमिकता के आधार पर निपटाया जाए। यदि किसी एक अधिकारी के अधीन अधिक मामले हैं, तो जिला उपायुक्तों को उपलब्ध अधिकारियों में मामलों को बांट कर कार्यभार को कम करना चाहिए। सभी उपायुक्तों को न्यायालय मामलों की जानकारी आगामी एक माह के अन्दर-अन्दर सॉफवेयर पर डालने के निर्देश दिये गये। सभी मंडलायुक्तों को नियमित आधार पर मामलों की स्थिति की समीक्षा करने तथा जहां आवश्यक हो उपचारात्मक कदम उठाने के निर्देश दिये हैं।
कान्फ्रेंस के दौरान इस बात की जानकारी दी गई कि हाल ही में बाढ़ के कारण खराब हुई खरीफ-2010 की फसलों के लिए सरकार द्वारा अतिशीघ्र राहत राशि जारी की जाएगी। प्रभावित किसानों को राहत राशि वितरित करने के लिए उपायुक्तों को तहसील अनुसार वितरण कार्यक्रम बनाने के लिए कहा गया है और इसके लिए सभी आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिये गये हंै।
प्रदेश में सार्वजनिक भूमि पर धार्मिक संस्थाओं द्वारा किये गये अनाधिकृत निर्माण को हटाने, अन्य स्थान स्थापित करने और नियमित करने की नीति के क्रियान्वयन की स्थिति पर विचार विमर्श करते हुए कुछ उपायुक्तों ने बताया कि उन्होंने ढांचे हटाने के लिए जैसा सम्भव हुआ है। कार्यवाही की है और वे नीति के अनुसार इन्हें अन्य स्थानों पर स्थापित करने और नियमित करने के लिए कार्यवाही कर रहे हैं। वित्तायुक्त एवं प्रधान सचिव, राजस्व उपायुक्तों द्वारा नीति मार्गदर्शन का अनुसरण करके कानून के अनुसार आवश्यक कार्यवाही किये जाने से प्रभावित हुए।
कान्फं्रेस के दौरान हरियाणा भूमि सुधार सूचना प्रणाली (हैलरिस), हरियाणा पंजीकरण सूचना प्रणाली (हैरिस), रैवन्यू मामलों की स्थिति तथा कोर्ट केस मोनिटरिंग सिस्टम के क्रियान्वयन तथा प्राकृतिक आपदाओं के लिए राहत वितरण की समीक्षा पर भी चर्चा की गई।
हरियाणा सरकार द्वारा तहसीलों में भूमि रिकॉर्ड के कम्प्यूटरीकरण के लिए विजुअल बैसिक सर्वर बेसड सॉफ्टवेयर सिस्टम का उपयोग किया जा रहा है। यह सॉफ्टवेयर एनआईसी हरियाणा राज्य इकाई द्वारा विकसित किया गया है और सभी उपायुक्तों दिसम्बर, 2010 तक सभी जमाबंदी ऑनलाइन करने के निर्देश दिये गये हैं। इसके अतिरिक्त, वर्तमान ऑनलाइन जमाबंदियों का नियमित रूप से अद्यतन करने पर भी बल दिया गया। इसके अतिरिक्त हरियाणा पंजीकरण सूचना प्रणाली भी एनआईसी हरियाणा द्वारा विकसित की गई है। इस प्रणाली का उद्देश्य एकल खिड़की सेवा प्रदान करना, समयबद्घ पंजीकरण, पारदर्शी और विश्वसनीय कार्य प्रणाली सुनिश्चित करना है। यह पंजीकरण से सृजित राजस्व के परिवीक्षण का एक औजार है।
माता-पिता के साथ नहीं, मैं तो प्रेमी संग जाऊंगी
डबवाली (लहू की लौ) गांव पाना से सोमवार रात को रहस्यमय परिस्थितियों में गायब हुई 20 वर्षीय युवती को गांव मांगेआना के खेतों से पुलिस ने बरामद करके अदालत में पेश किया और अदालत ने उसे नारी निकेतन भेजने के आदेश दिये।
थाना सदर के कार्यकारी प्रभारी एसआई रतन सिंह ने बताया कि गांव पाना के मिट्ठू सिंह की बेटी भूपिन्द्र कौर (20) सोमवार की रात को लगभग 12 बजे घर से गायब हो गई। लेकिन मंगलवार सुबह गांव मांगेआना के भूपिन्द्र सिंह ने पुलिस को सूचना दी कि गांव के खेतों में संदिग्ध अवस्था में एक लड़की घूम रही है। इसी आधार पर पुलिस ने मौका पर पहुंच कर लड़की को बरामद कर लिया। लड़की ने अपना नाम भूपिन्द्र कौर पुत्री मि_ू सिंह निवासी पाना बताया। जिसकी सूचना लड़की के माता-पिता को दी गई। इधर लड़की ने पुलिस को बताया कि वह अपनी मर्जी से अपने ही गांव के अवतार सिंह के साथ आई थी और वह उसी के साथ रहना चाहती है। ब्यानों के आधार पर पुलिस ने लड़की को उपमंडल न्यायिक दंडाधिकारी महावीर सिंह की अदालत में पेश किया और अदालत ने 164 सीआरपीसी के तहत लड़की के ब्यान कलमबद्ध करने के बाद लड़की को नारी निकेतन करनाल भेजने के आदेश दिये। इस मौके पर उपस्थित भूपिन्द्र कौर की माता जसविन्द्र कौर (45) पत्नी मिट्ठू सिंह ने बताया कि उसकी लड़की पिछले दो वर्ष से मानसिक रूप से परेशान है और उसे अक्सर मिर्गी के दौरे पड़ते हैं और अक्सर वह दौरे के बाद अपनी सुधबुध खो बैठती है।
थाना सदर के कार्यकारी प्रभारी एसआई रतन सिंह ने बताया कि गांव पाना के मिट्ठू सिंह की बेटी भूपिन्द्र कौर (20) सोमवार की रात को लगभग 12 बजे घर से गायब हो गई। लेकिन मंगलवार सुबह गांव मांगेआना के भूपिन्द्र सिंह ने पुलिस को सूचना दी कि गांव के खेतों में संदिग्ध अवस्था में एक लड़की घूम रही है। इसी आधार पर पुलिस ने मौका पर पहुंच कर लड़की को बरामद कर लिया। लड़की ने अपना नाम भूपिन्द्र कौर पुत्री मि_ू सिंह निवासी पाना बताया। जिसकी सूचना लड़की के माता-पिता को दी गई। इधर लड़की ने पुलिस को बताया कि वह अपनी मर्जी से अपने ही गांव के अवतार सिंह के साथ आई थी और वह उसी के साथ रहना चाहती है। ब्यानों के आधार पर पुलिस ने लड़की को उपमंडल न्यायिक दंडाधिकारी महावीर सिंह की अदालत में पेश किया और अदालत ने 164 सीआरपीसी के तहत लड़की के ब्यान कलमबद्ध करने के बाद लड़की को नारी निकेतन करनाल भेजने के आदेश दिये। इस मौके पर उपस्थित भूपिन्द्र कौर की माता जसविन्द्र कौर (45) पत्नी मिट्ठू सिंह ने बताया कि उसकी लड़की पिछले दो वर्ष से मानसिक रूप से परेशान है और उसे अक्सर मिर्गी के दौरे पड़ते हैं और अक्सर वह दौरे के बाद अपनी सुधबुध खो बैठती है।
दो बाईक चोर काबू, जेल भेजे
डबवाली (लहू की लौ) थाना शहर पुलिस ने बाईक चोर गिरोह के दो सदस्यों को काबू करने में सफलता अर्जित की है। जबकि गिरोह का सरगना पुलिस के हत्थे नहीं चढ़ा है। थाना शहर प्रभारी विक्रम नेहरा ने बताया कि पुलिस को मुखबरी मिली थी कि बाईक चोर गिरोह के तीन सदस्य डबवाली में घूम रहे हैं। उनके पास चोरी का एक बाईक भी है। वे यहां ग्राहक की तालाश में हैं। मौका पर दबिश दी जाए तो उन्हें पकड़ा जा सकता है। उन्होंने हवलदार खेता राम के नेतृत्व में एक टीम गठित करके मौका पर भेजा।
थाना प्रभारी के अनुसार टीम ने 22 अगस्त को डॉ. गुलाटी अस्पताल वाली रोड़ पर दबिश दी तो चोरी के बाईक सहित एक युवक को काबू कर लिया। जबकि उसके दो अन्य साथी पुलिस को देखकर भाग निकले। पकड़े गए युवक ने अपनी पहचान जसकरण उर्फ जस्सा (23) निवासी क्खांवाली (पंजाब) के रूप में करवाई। आरोपी को अदालत में पेश किया गया। यहां से उसका एक दिन का रिमांड प्राप्त हुआ। आरोपी जसकरण सिंह को निशानदेही के लिए मलोट रोड़ की ओर लेजाया जा रहा था। इसी दौरान रेलवे फाटक के नजदीक उसने अपने एक अन्य साथी को देख लिया। जिसे पुलिस ने दबोच लिया। पकड़े गए दूसरे आरोपी ने अपनी पहचान प्रविन्द्र सिंह (19) निवासी क्खांवाली के रूप में करवाई। एसआई विक्रम नेहरा ने बताया कि गिरोह के मुखिया की पहचान कुलविंद्र सिंह (26) निवासी क्खांवाली के रूप में हुई है। वह बाईक चोरी में पकड़े गए जसकरण का बड़ा भाई है। पुलिस आरोपी की तालाश कर रही है। उन्होंने यह भी बताया कि बरामद हुआ मोटरसाईकिल गांव डबवाली के राजदीप सिंह बराड़ का है। आरोपी बीती 4 अगस्त को इसे कलोनी रोड़ से चुरा ले गए थे। पकड़े गए दोनों आरोपियों को मंगलवार को उपमण्डल न्यायिक दण्डाधिकारी महावीर सिंह की अदालत में पेश किया गया। अदालत ने आरोपियों को जेल भेजने के आदेश दिए।
थाना प्रभारी के अनुसार टीम ने 22 अगस्त को डॉ. गुलाटी अस्पताल वाली रोड़ पर दबिश दी तो चोरी के बाईक सहित एक युवक को काबू कर लिया। जबकि उसके दो अन्य साथी पुलिस को देखकर भाग निकले। पकड़े गए युवक ने अपनी पहचान जसकरण उर्फ जस्सा (23) निवासी क्खांवाली (पंजाब) के रूप में करवाई। आरोपी को अदालत में पेश किया गया। यहां से उसका एक दिन का रिमांड प्राप्त हुआ। आरोपी जसकरण सिंह को निशानदेही के लिए मलोट रोड़ की ओर लेजाया जा रहा था। इसी दौरान रेलवे फाटक के नजदीक उसने अपने एक अन्य साथी को देख लिया। जिसे पुलिस ने दबोच लिया। पकड़े गए दूसरे आरोपी ने अपनी पहचान प्रविन्द्र सिंह (19) निवासी क्खांवाली के रूप में करवाई। एसआई विक्रम नेहरा ने बताया कि गिरोह के मुखिया की पहचान कुलविंद्र सिंह (26) निवासी क्खांवाली के रूप में हुई है। वह बाईक चोरी में पकड़े गए जसकरण का बड़ा भाई है। पुलिस आरोपी की तालाश कर रही है। उन्होंने यह भी बताया कि बरामद हुआ मोटरसाईकिल गांव डबवाली के राजदीप सिंह बराड़ का है। आरोपी बीती 4 अगस्त को इसे कलोनी रोड़ से चुरा ले गए थे। पकड़े गए दोनों आरोपियों को मंगलवार को उपमण्डल न्यायिक दण्डाधिकारी महावीर सिंह की अदालत में पेश किया गया। अदालत ने आरोपियों को जेल भेजने के आदेश दिए।
नोट छीन भागी युवती
डबवाली (लहू की लौ) सार्वजनिक स्थानों पर असामाजिक तत्वों की गतिविधियां जारी हैं। मंगलवार को रेलवे स्टेशन पर टिकट के लिए लाईन में लगी एक महिला के हाथ में पकड़ा नोट छीनकर एक युवती फरार हो गई। महिला के पति ने काफी शोर मचाया। लेकिन वहां खड़े लोग मूकदर्शक बने रहे। गली संतोषी माता मंदिर वाली में रहने वाले सुभाष सेठी (40) ने बताया कि रक्षाबंधन पर अपने भाई को राखी बांधने के लिए उसकी पत्नी सीमा (38) ने बेटियों रिया (16) और रजनी (14) के संग जैतो मण्डी जाना था। वह उन लोगों को रेलगाड़ी पर चढ़ाने के लिए रेलवे स्टेशन पर आया हुआ था। टिकट के लिए उसकी पत्नी विंडो पर खड़ी थी और उसने हाथ में सौ रूपए का नोट पकड़ रखा था। अचानक एक 20-22 साल की युवती ने सीमा के हाथ में पकड़ा नोट छीन लिया और भाग गई। उसने पीछा करके युवती को दबोच लिया। स्टेशन पर खड़े लोगों को भी उसने उपरोक्त घटनाक्रम के बारे में बताया लेकिन उसकी सहायता के लिए कोई आगे नहीं बढ़ा। मौका पाकर लड़की बठिंडा जाने के लिए खड़ी गाड़ी में जा बैठी और फरार हो गई। इस संबंध में जब स्टेशन मास्टर महेश सरीन से पूछा गया तो उन्होंने बताया कि वे मिनट-दर-मिनट अनाऊंसमेंट करवाकर रेल यात्रियों को सुरक्षा संबंधी दिशा-निर्देश दे रहे हैं।
चोरी की गुत्थी सुलझाई
डबवाली (लहू की लौ) थाना शहर पुलिस ने धालीवाल नगर स्थित वेद प्रकाश मास्टर के हुई चोरी की गुत्थी सुलझाते हुए चोरी के आरोपियों को गिरफ्तार करने और चोरी हुआ समान बरामद करने में सफलता हासिल की है।
थाना शहर के एएसआई तथा जांच अधिकारी कैलाश चन्द्र ने बताया कि 16-17 अगस्त को धालीवाल नगर स्थित मास्टर वेद प्रकाश के घर के बाहर खड़ी स्कूल वैन से डीजल और स्कार्पियों कार से बैंटरी,एलसीडी,डीवीडी अज्ञात ने चुरा ली थी।
वेद प्रकाश के ब्यान पर पुलिस ने चोरी का मामला दर्ज करके इसकी जांच शुरू कर दी थी। पुलिस ने जांच के दौरान इस चोरी के आरोप में गांव डबवाली के पाल उर्फ पालू (40)पुत्र सीता राम तथा गांव दारेवाला के श्रवण (24) पुत्र जगदीश को गिरफ्तार करके उन से चुराये गये समान को बरामद करने के बाद आरोपियों को पुलिस ने उपमण्डल न्यायिक दण्डाधिकारी महावीर सिंह की अदालत में पेश किया। अदालत ने दोनो को 14 दिन के लिए न्यायिक हिरासत में भेजने के आदेश दिये।
थाना शहर के एएसआई तथा जांच अधिकारी कैलाश चन्द्र ने बताया कि 16-17 अगस्त को धालीवाल नगर स्थित मास्टर वेद प्रकाश के घर के बाहर खड़ी स्कूल वैन से डीजल और स्कार्पियों कार से बैंटरी,एलसीडी,डीवीडी अज्ञात ने चुरा ली थी।
वेद प्रकाश के ब्यान पर पुलिस ने चोरी का मामला दर्ज करके इसकी जांच शुरू कर दी थी। पुलिस ने जांच के दौरान इस चोरी के आरोप में गांव डबवाली के पाल उर्फ पालू (40)पुत्र सीता राम तथा गांव दारेवाला के श्रवण (24) पुत्र जगदीश को गिरफ्तार करके उन से चुराये गये समान को बरामद करने के बाद आरोपियों को पुलिस ने उपमण्डल न्यायिक दण्डाधिकारी महावीर सिंह की अदालत में पेश किया। अदालत ने दोनो को 14 दिन के लिए न्यायिक हिरासत में भेजने के आदेश दिये।
ईक कुड़ी पंजाब दी 17 सितंबर को होगी रिलीज
बठिंडा (प्रवीण सिंगला) पंजाबी फिल्म ईक कुड़ी पंजाब दी 17 सितंबर को रिलीज होने जा रही है तथा यह फिल्म पंजाबी सभ्यता, पंजाबियत के रंग में रंगी हुई साफ सुथरी पारिवारिक फिल्म है। यदि पंजाब के लोग, खासकर युवा वर्ग इस फिल्म को देखेगा तो फिल्म की टीम अपने आपको भागों वाली समझेगी।
इन बातों का प्रगटावा आज स्वामी विवेकानंद गल्र्ज कॉलेज में फिल्म के मुख्य कलाकार तथा प्रसिद्ध पंजाबी गायक नौजवान दिलों की धड़कन अमरेंद्र गिल ने किया। उनके साथ सह कलाकार, प्रसिद्ध पंजाबी कॉमेडियन राणा रणवीर, प्रसिद्ध पंजाबी गीतकार अमरदीप गिल, प्रसिद्ध थियेटर कलाकार और रंगकर्मी टोनी बातिश, पत्रकार तथा गीतकार हरिंद्र भुल्लर भी उपस्थित थे। इस मौके कॉलेज की छात्राओं को संबोधन करते हुए अमरेंद्र गिल ने बताया कि यह फिल्म मशहूर नाटककार स.गुरशरण सिंह को समर्पित है। जबकि फिल्म के निर्माता निर्देशक मनमोहन सिंह हैं जिनके द्वारा मुंडे यूके दे फिल्म में उनको सह कलाकार का किरदार दिया गया था और उस किरदार में उनके द्वारा अच्छी मेहनत करने के फल के तौर पर स.मनमोहन सिंह ने उनको आने वाली इस ईक कु ड़ी पंजाब की फिल्म में मुख्य कलाकार की भूमिका दी है।
इस मौके उन्होंने छात्राओं की इच्छाओं के मुताबिक अपने गीत भी अपनी सुरीली आवाज में सुनाए। इस मौके राणा रणबीर ने बताया कि उनका इस फिल्म में शरारती रोल है और फिल्म के डॉयलॉग भी उनके द्वारा लिखे गये हैं जबकि नौजवान पीढ़ी पर आधारित एक गीत भी उनके द्वारा लिखा गया फिल्म में सुनने को मिलेगा। उन्होंने अपने अंदाज में कहा कि यह गीत सुनने के लिए ओरिजनल कैसटें ही खरीदी जाएं क्योंकि डुप्लीकेट कैसटों में यह गाना नहीं होगा। उन्होंने बताया कि इस फिल्म की प्रमोशन के लिए बठिंडा आने का मतलब है कि इस फिल्म की हीरोईन जसपिंद्र चीमा बठिंडा से बिलांग करती है और फिल्म में किरदार भी बठिंडा से संबंधित हैं और यह फिल्म देखकर बठिंडा वाले सीना चौड़ा करके घूमा करेंगे कि बठिंडा भी किसी से पीछे नहीं है। अमरदीप गिल ने बताया कि इस फिल्म का टाईटल सांग उनके द्वारा लिखा गया है जबकि एक सैड सांग भी है। फिल्म में सुखजिंद्र छिंदा द्वारा म्यूजिक दिया गया है जबकि निम्मा लोहारका के भी गीत इस फिल्म में हैं। उन्होंने बताया कि फिल्म में गग्गू गिल, दीप ढिल्लों, किम्मी वर्मा, अमन धालीवाल, कंवलजीत सिंह, गुरप्रीत घुग्गी तथा नवनीत निशान मुख्य सितारे हैं। उन्होंने बताया कि मनमोहन सिंह जो फिल्म के निर्माता निर्देशक हैं जो एक अच्छे कैमरामैन भी हैं जिनके द्वारा दिल वाले दुल्हनियां ले जायेंगे, बेताब, चांदनी, लम्हें, डर जैसी हिंदी फिल्मों का फिल्मांकन भी किया गया है।
इस मौके कॉलेज की पिं्रसीपल मैडम राज गुप्ता ने पहुंचे हुए कलाकारों का भारी स्वागत करते हुए कहा कि यह बहुत ही खुशी की बात है कि पंजाबी कलाकारी में प्रसिद्ध नाम रखने वाले अमरेंद्र गिल, राणा रणबीर, अमरदीप गिल और उनकी टीम ने आज उनके कॉलेज में पहुंचकर कॉलेज को बनता सम्मान दिया है और उनको धन्यवाद का पात्र बनाया है। उन्होंने ऐलान किया कि इस फिल्म को उनके कॉलेज की पूरी टीम सहित छात्राऐं देखेंगीं।
इन बातों का प्रगटावा आज स्वामी विवेकानंद गल्र्ज कॉलेज में फिल्म के मुख्य कलाकार तथा प्रसिद्ध पंजाबी गायक नौजवान दिलों की धड़कन अमरेंद्र गिल ने किया। उनके साथ सह कलाकार, प्रसिद्ध पंजाबी कॉमेडियन राणा रणवीर, प्रसिद्ध पंजाबी गीतकार अमरदीप गिल, प्रसिद्ध थियेटर कलाकार और रंगकर्मी टोनी बातिश, पत्रकार तथा गीतकार हरिंद्र भुल्लर भी उपस्थित थे। इस मौके कॉलेज की छात्राओं को संबोधन करते हुए अमरेंद्र गिल ने बताया कि यह फिल्म मशहूर नाटककार स.गुरशरण सिंह को समर्पित है। जबकि फिल्म के निर्माता निर्देशक मनमोहन सिंह हैं जिनके द्वारा मुंडे यूके दे फिल्म में उनको सह कलाकार का किरदार दिया गया था और उस किरदार में उनके द्वारा अच्छी मेहनत करने के फल के तौर पर स.मनमोहन सिंह ने उनको आने वाली इस ईक कु ड़ी पंजाब की फिल्म में मुख्य कलाकार की भूमिका दी है।
इस मौके उन्होंने छात्राओं की इच्छाओं के मुताबिक अपने गीत भी अपनी सुरीली आवाज में सुनाए। इस मौके राणा रणबीर ने बताया कि उनका इस फिल्म में शरारती रोल है और फिल्म के डॉयलॉग भी उनके द्वारा लिखे गये हैं जबकि नौजवान पीढ़ी पर आधारित एक गीत भी उनके द्वारा लिखा गया फिल्म में सुनने को मिलेगा। उन्होंने अपने अंदाज में कहा कि यह गीत सुनने के लिए ओरिजनल कैसटें ही खरीदी जाएं क्योंकि डुप्लीकेट कैसटों में यह गाना नहीं होगा। उन्होंने बताया कि इस फिल्म की प्रमोशन के लिए बठिंडा आने का मतलब है कि इस फिल्म की हीरोईन जसपिंद्र चीमा बठिंडा से बिलांग करती है और फिल्म में किरदार भी बठिंडा से संबंधित हैं और यह फिल्म देखकर बठिंडा वाले सीना चौड़ा करके घूमा करेंगे कि बठिंडा भी किसी से पीछे नहीं है। अमरदीप गिल ने बताया कि इस फिल्म का टाईटल सांग उनके द्वारा लिखा गया है जबकि एक सैड सांग भी है। फिल्म में सुखजिंद्र छिंदा द्वारा म्यूजिक दिया गया है जबकि निम्मा लोहारका के भी गीत इस फिल्म में हैं। उन्होंने बताया कि फिल्म में गग्गू गिल, दीप ढिल्लों, किम्मी वर्मा, अमन धालीवाल, कंवलजीत सिंह, गुरप्रीत घुग्गी तथा नवनीत निशान मुख्य सितारे हैं। उन्होंने बताया कि मनमोहन सिंह जो फिल्म के निर्माता निर्देशक हैं जो एक अच्छे कैमरामैन भी हैं जिनके द्वारा दिल वाले दुल्हनियां ले जायेंगे, बेताब, चांदनी, लम्हें, डर जैसी हिंदी फिल्मों का फिल्मांकन भी किया गया है।
इस मौके कॉलेज की पिं्रसीपल मैडम राज गुप्ता ने पहुंचे हुए कलाकारों का भारी स्वागत करते हुए कहा कि यह बहुत ही खुशी की बात है कि पंजाबी कलाकारी में प्रसिद्ध नाम रखने वाले अमरेंद्र गिल, राणा रणबीर, अमरदीप गिल और उनकी टीम ने आज उनके कॉलेज में पहुंचकर कॉलेज को बनता सम्मान दिया है और उनको धन्यवाद का पात्र बनाया है। उन्होंने ऐलान किया कि इस फिल्म को उनके कॉलेज की पूरी टीम सहित छात्राऐं देखेंगीं।
अब नम्बरदार कर सकेंगे फ्री बस यात्रा
डबवाली (लहू की लौ) हरियाणा के परिवहन मंत्री ओम प्रकाश जैन ने आज कहा कि हरियाणा राज्य परिवहन आम लोगों को बेहतर आवागमन की सुविधाएं उपलब्ध करवाने के लिए वचनबद्ध है। अब कोई भी व्यक्ति बस पास बनवा सकता है। जन साधारण को सुरक्षित व आरामदायक परिवहन सेवाएं मुहैया करवाने के लिए हर संभव प्रयास किये जा रहे है।
परिवहन मंत्री ने बताया कि हरियाणा सरकार की महिला शिक्षा को बढ़ावा देने की योजना के तहत लड़कियों के लिए मास में केवल 20 दिन का एक तरफा मासिक किराया लेकर बस पास बनाकर स्पेशल बस यात्रा सुविधा दी जा रही है। इसी प्रकार हरियाणा सरकार से मान्यता प्राप्त स्कूल,कालेज व अन्य शिक्षण संस्थानों में अध्ययनरत्त विद्यार्थियों को रोड़वेज की सामान्य बसों में 60 कि०मी० तक यात्रा करने के लिए 6 माह का रियायती पास बनवाने की सुविधा दी जा रही है। इसी प्रकार सरकारी कर्मचारियों को एक मास में 35 टिकटों का किराया लेकर बस पास बनवाने की सुविधा दी गई है।
इसी प्रकार, अर्जुन अवार्ड विजेता, ओलम्पिक व राज्य पुरस्कार विजेता खिलाडियों, राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता कलाक ारों के अलावा नम्बरदारों को तहसील कार्यालय द्वारा जारी किए गए कूपन दिखाने पर मास में दो बार घर से जिला मुख्यालय तक तथा 10 बार तहसील कार्यालय तक हरियाणा परिवहन की बसों में आने जाने की नि:शुल्क यात्रा सुविधा प्रदान की गई है।
जैन ने बताया कि 25 प्रतिशत से अधिक विकलांगता वाले भूतपूर्व सैनिकों को भी हरियाणा परिवहन की बसों में नि:शुल्क यात्रा उपलब्ध करवाकर सरकार ने एक अनूठी पहल की है।
परिवहन मंत्री ने बताया कि हरियाणा सरकार की महिला शिक्षा को बढ़ावा देने की योजना के तहत लड़कियों के लिए मास में केवल 20 दिन का एक तरफा मासिक किराया लेकर बस पास बनाकर स्पेशल बस यात्रा सुविधा दी जा रही है। इसी प्रकार हरियाणा सरकार से मान्यता प्राप्त स्कूल,कालेज व अन्य शिक्षण संस्थानों में अध्ययनरत्त विद्यार्थियों को रोड़वेज की सामान्य बसों में 60 कि०मी० तक यात्रा करने के लिए 6 माह का रियायती पास बनवाने की सुविधा दी जा रही है। इसी प्रकार सरकारी कर्मचारियों को एक मास में 35 टिकटों का किराया लेकर बस पास बनवाने की सुविधा दी गई है।
इसी प्रकार, अर्जुन अवार्ड विजेता, ओलम्पिक व राज्य पुरस्कार विजेता खिलाडियों, राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता कलाक ारों के अलावा नम्बरदारों को तहसील कार्यालय द्वारा जारी किए गए कूपन दिखाने पर मास में दो बार घर से जिला मुख्यालय तक तथा 10 बार तहसील कार्यालय तक हरियाणा परिवहन की बसों में आने जाने की नि:शुल्क यात्रा सुविधा प्रदान की गई है।
जैन ने बताया कि 25 प्रतिशत से अधिक विकलांगता वाले भूतपूर्व सैनिकों को भी हरियाणा परिवहन की बसों में नि:शुल्क यात्रा उपलब्ध करवाकर सरकार ने एक अनूठी पहल की है।
युवाओं में अंग्रेजी भाषा स्किल अपग्रेड करने के लिए जिला में चलेगा कार्यक्रम
सिरसा। यूथ एनर्जी मैनेजमेंट कार्यक्रम के तहत ब्रिटिश कोंसिल, कांफडरेशन ऑफ इंडियन इंडस्ट्री (सीआईआई) तथा सीटी एंड गिल्ड (यूके)द्वारा सिरसा जिला के युवाओं में अंग्रेजी भाषा में स्किल अपग्रेड करने तथा व्यावसायिक शिक्षा में प्रशिक्षण देने के लिए कार्यक्रम शुरु किया जाएगा। यह जानकारी आज यहां जिला उपायुक्त सी.जी रजिनीकांथन ने ब्रिटिश कौंसिल द्वारा आयोजित बैठक में जिला के अंग्रेजी प्राध्यापकों को संबोधित करते हुए दी। इस कार्यक्रम को शत् प्रतिशत सफल बनाने के लिए विभिन्न राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक स्कूलों में कार्यरत अंग्रेजी के कनिष्ठ प्राध्यापकों का सहयोग लिया जाएगा।
कांथन ने बताया कि यूथ एनर्जी मैनजमेंट कार्यक्रम के लिए पूरे देश में सिरसा और सीतापुर (उत्तर प्रदेश)जिलों का चयन किया गया है। इस कार्यक्रम के लिए शिक्षा में पिछड़ेपन के आधार पर इन जिलों का चयन किया गया है। हालांकि यह कार्यक्रम सबसे पहले सिरसा जिला में ही पायलट प्रोजेक्ट के रुप में शुरु किया गया है। इसके बाद सीतापुर में सिरसा की तर्ज पर शुरु किया जाएगा।
उन्होंने बताया कि कार्यक्रम के लिए ब्रिटिश कोंसिल द्वारा जिला के तीस से भी अधिक प्राध्यापकों को अंग्रेजी भाषा में प्रशिक्षित किया जाएगा। प्रशिक्षण के लिए सिरसा मुख्यालय में अंग्रेजी भाषा की लैब स्थापित की जाएगी जिसमें ब्रिटिश कोंसिल के मास्टर ट्रेनर प्राध्यापकों को प्रशिक्षित करेंगे।
उन्होंने यह भी बताया कि व्यावसायिक शिक्षा एवं प्रशिक्षण कार्यक्रम के तहत स्थानीय बहुतकनीकी महाविद्यालयों और औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों के प्राध्यापकों और अध्यापकों को प्रशिक्षित किया जाएगा।
कांथन ने बताया कि यूथ एनर्जी मैनजमेंट कार्यक्रम के लिए पूरे देश में सिरसा और सीतापुर (उत्तर प्रदेश)जिलों का चयन किया गया है। इस कार्यक्रम के लिए शिक्षा में पिछड़ेपन के आधार पर इन जिलों का चयन किया गया है। हालांकि यह कार्यक्रम सबसे पहले सिरसा जिला में ही पायलट प्रोजेक्ट के रुप में शुरु किया गया है। इसके बाद सीतापुर में सिरसा की तर्ज पर शुरु किया जाएगा।
उन्होंने बताया कि कार्यक्रम के लिए ब्रिटिश कोंसिल द्वारा जिला के तीस से भी अधिक प्राध्यापकों को अंग्रेजी भाषा में प्रशिक्षित किया जाएगा। प्रशिक्षण के लिए सिरसा मुख्यालय में अंग्रेजी भाषा की लैब स्थापित की जाएगी जिसमें ब्रिटिश कोंसिल के मास्टर ट्रेनर प्राध्यापकों को प्रशिक्षित करेंगे।
उन्होंने यह भी बताया कि व्यावसायिक शिक्षा एवं प्रशिक्षण कार्यक्रम के तहत स्थानीय बहुतकनीकी महाविद्यालयों और औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों के प्राध्यापकों और अध्यापकों को प्रशिक्षित किया जाएगा।
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