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21 नवंबर 2024

सकताखेड़ा पंचायत सदस्यों ने सरपंच के खिलाफ उपायुक्त को शिकायत सौंपी, आरोप - मनमानी और विकास कार्यों में भेदभाव

डबवाली(लहू की लौ)गांव सकताखेड़ा में अलग-2 वार्ड से निर्वाचित 13 पंचायत सदस्यों ने सरपंच पर बैठक नहीं बुलाने व मनमानी करने के आरोप लगाते हुए उसके खिलाफ उपायुक्त को शिकायत सौंपी है। उपरोक्त सदस्य आज बुधवार को सिरसा जाकर उपायुक्त से मिले व उन्हें शिकायत दी। 


पंचायत सदस्य अंग्रेज सिंह, नरेंद्र कुमार, पवन कुमार, जागीर कौर, सुमन रानी, गिरधारी, रमनदीप कौर, राजन कुमार, जितेंद्र सिंह, गुरमेल सिंह, मनप्रीत कौर, सर्वजीत कौर व कुलविंदर कौर के हस्ताक्षरयुक्त शिकायत पत्र में बताया कि ग्राम पंचायत सकताखेड़ा, तहसील डबवाली जिला सिरसा की निर्वाचित सरपंच वीरपाल कौर है। 

इस संबंध में जानकारी देते हुए पंचायत सदस्य अंग्रेज सिंह ने बताया कि शिकायत में पंचायत सदस्यों ने आरोप लगाया कि जब से उन्होंने सरपंच पद का कार्यभार संभाला है, तब से वह पंचायत सचिव के साथ मिलकर अपनी मनमानी करती है और सरकारी राशि से गांव में विकास करवाने में भी भेदभाव करती है। उन्होंने गांव के विकास एवं अन्य समस्याओं के लिए प्रावधान अनुसार प्रति माह बैठक नहीं की और ना ही किसी बैठक के लिए कोई एजेंडा तैयार किया है। शिकायत में आरोप लगाया कि पंचायत सदस्यों की सहमति के बिना, प्रस्ताव पारित किए जा रहे हंै और प्रस्ताव पारित होने के बाद सभी मैंम्बरों के घर में हस्ताक्षर करने के लिए रजिस्टर भेज दिया जाता है। अगर कोई मैंम्बर सहमत होता है तो वो अपने हस्ताक्षर कर देता है, अगर सहमत नहीं होता तो हस्ताक्षर नहीं करता। इस प्रकार गांव के विकास एवं अन्य समस्याओं के प्रति उनका व्यवहार बड़ा ही अडियल एवं सभी को साथ लेकर चलने वाला नहीं है। 

उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि हम निर्वाचित मैम्बर पंचायत के वार्डो में गलियों व नालियों के निर्माण पर कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा। अगर किसी गली या नाली का निर्माण किया जाता है तो उसका लेवल निर्धारित नहीं किया जाता और मैटीरियल भी आईएसआई मार्का का उपयोग नहीं करके, देसी मैटीरियल प्रयोग किया जाता है, जिसके सैम्पल लिए जा सकते हंै। 

शिकायतकर्ता पंचायत सदस्यों ने आरोप लगाया कि वे  वीरपाल कौर सरपंच के गांव के विकास एवं अन्य समस्याओं के प्रति अडियल व्यवहार के कारण सन्तुष्ट नहीं हंै और हमारे वार्ड वासी हमारे को उलाहना देते हैं। शिकायत पत्र में पंचायत सदस्यों ने मांग की कि सरपंच पर लगाए आरोपों की गहनता से खुफिया तौर पर जांच करवाई जाए और बाद जांच उपरांत उन्हें सरपंच पद से हटाकर निर्वाचित मैम्बर पंचायत में से किसी को भी सरपंच पद पर आसीन/नियुक्त किया जाए ताकि सरकारी ग्रांट से गांव के विकास कार्य बिना किसी भेदभाव से सुचारू रूप से हो सकें। 

09 जून 2020

डबवाली खंड की 48 पंचायतों ने दी चेतावनी

सरकार एक हफ्ते में ई-ट्रेडिंग रोके, वरना हम सामूहिक तौर पर देंगे इस्तीफा 
डबवाली(लहू की लौ)ई-ट्रेडिंग व्यवस्था लागू करने से नाराज़ डबवाली खंड की 48 पंचायतों ने सामूहिक तौर पर इस्तीफा देने की चेतावनी दी है। इस संबंध में सोमवार को पंचायतों ने तहसीलदार संजय चौधरी को मुख्यमंत्री हरियाणा के नाम नोटिस थमा दिया। नोटिस में कहा गया है कि हरियाणा सरकार ने पंचायतों को ई-ट्रेडिंग के माध्यम से मेटीरियल खरीदने के लिए कहा है। इस नीति को तुरंत प्रभाव से रोका जाए। चूंकि इसके कारण पंचायत विकास कार्य नहीं करवा सकेगी। पंचायतों ने उपरोक्त नीति पर एक हफ्ते में रोक लगाने की मांग करते हुए कहा है कि अगर ऐसा नहीं हुआ तो डबवाली खंड की सभी पंचायतें सामूहिक रुप से इस्तीफा देने को मजबूर होंगी। इस मौके पर सरपंच जोगिंद्र सिंह रामगढ़, सरपंच प्रतिनिधि प्रहलाद बनवाला, धर्मपाल गोदिकां, बलविंद्र सिंह मुन्नांवाली, सरपंच प्रतिनिधि संदीप सहारण झुट्टीखेड़ा, खुशकरण सिंह मसीतां मौजूद थे। तहसीलदार ने कहा कि उचित माध्यम से मांग पत्र को सरकार तक भेजा जाएगा।

सरपंच बोले-चार साल में सर्वे के अलावा कुछ नहीं हुआ
तहसीलदार को मांग पत्र सौंपते हुए सरपंचों ने कहा कि जनवरी 2016 में नई पंचायत बनी है, तब से ना कोई गरीब के लिए बीपीएल कार्ड, न ही प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत मकान आया है। इतना ही नहीं किसी को प्लाट अलॉट नहीं हुआ है, न ही किसी को किसी प्रकार की सुविधा मिली है। सरकार ने चार साल से ऊपर का समय केवल सर्वे करते-करते बिता दिया। मनरेगा के तहत काम नहीं मिला। सरकार ने कोरोना महामारी के चलते गांव में सभी गरीबों को मुफ्त अनाज देने का वायदा किया था। सामने आया है कि उन लोगों को राशन कूपन दिए गए, जिनके पास अच्छी जमीन जायदाद है। जबकि गरीब लाभ से वंचित रह गए।

ई-ट्रेंडिंग प्रणाली काफी जटिल है। बार-बार मेटीरियल के लिए ई-ट्रेडिंग करनी होगी। इसमें काफी समय व्यतीत हो जाएगा। ऐसे में कोई भी कार्य समय पर पूरा नहीं होगा। सरकार ने उनकी मांग की तरफ ध्यान नहीं दिया तो हम सामूहिक तौर पर इस्तीफा देने को बाध्य होंगे।
-प्रहलाद कासनिया, प्रधान
सरपंच एसोसिएशन डबवाली