
उप-मुख्यमंत्री जिनके पास उद्योग एवं वाणिज्य विभाग का प्रभार भी है, ने इस सम्बन्ध में आज यहां जानकारी देते हुए बताया कि भविष्य में इन उद्योगों में आर्थिक लेन-देन तो बढ़ेगा ही और साथ ही देश के औद्योगिक एवं आर्थिक विकास में बड़े उद्योगों की
तरह इनकी भूमिका भी महत्वपूर्ण होगी।
दुष्यंत चौटाला ने बताया कि केन्द्र सरकार के हाल ही में घोषित किये गए आर्थिक पैकेज का मुख्य उद्देश्य लॉकडाउन के चौथे चरण के बाद औद्योगिक एवं अन्य वाणिज्यिक गतिविधियों को अपनी पहले जैसी सामान्य स्थिति की ओर बढ़ाना है, जो राज्य सरकार की प्राथमिकता भी है।
दुष्यंत चौटाला ने कहा कि इस आर्थिक पैकेज से वित्त वर्ष 2020-21 की दूसरी तिमाही के बाद देश के सकल घरेलू उत्पाद को पुन$:पटरी पर लाया जा सकेगा तथा यह पैकेज औद्योगिक विकास के लिए एमएसएमई उद्योगों के लिए एक लिवरेज का काम करेगा।
उप मुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा सरकार ने इससे पहले भी एमएसएमई उद्यमियों के लिए कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए हैं। उन्होंने कहा कि आगामी अगस्त माह तक नई उद्यम प्रोत्साहन नीति-2020 को तैयार किया जा रहा है, एमएसएमई पर भी मुख्य रूप से फोकस किया जाएगा।
दुष्यंत चौटाला ने कहा कि कृषि एवं सम्बद्ध क्षेत्र तथा विनिर्माण क्षेत्र के साथ-साथ सेवा क्षेत्र का सकल घरेलू उत्पाद दर में महत्वपूर्ण योगदान है तथा हरियाणा में राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र, विशेषकर गुरुग्राम में सेवा क्षेत्र में बड़े पैमाने पर विस्तार हुआ है। केन्द्र सरकार द्वारा सेवा क्षेत्र को एमएमएमई में शामिल करने की घोषणा से प्रदेश के राजस्व में भी निश्चित रूप से वृद्धि होगी।
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