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युवा दिलों की धड़कन, जन जागृति का दर्पण, निष्पक्ष एवं निर्भिक समाचार पत्र

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23 जून 2020

डबवाली बीडीपीओ कार्यालय में चौटाला गांव के ग्रामीणों का प्रदर्शन

ग्रामीण बोले-गांव में खुले में बहाया जा रहा है मल, वातावरण हो रहा दूषित, शिकायत के बावजूद नहीं हुई कार्रवाई
डबवाली(लहू की लौ)गांव चौटाला में टॉयलेट की पाइप खुले में छोडऩे के विरोध में सोमवार को ग्रामीणों ने बीडीपीओ कार्यालय में धरना दिया। बीडीपीओ तथा एसइपीओ के खिलाफ नारेबाजी करके रोष जताया। सूचना मिलने के बाद विधायक अमित सिहाग भी मौका पर पहुंचे। उन्होंने ग्रामीणों की मांग पर कहा कि अगर शिकायत सही पाई गई है तो प्रशासन को तुरंत प्रभाव से उचित कार्रवाई करनी चाहिए। करीब तीन घंटे तक ग्रामीण नारेबाजी करते रहे। बाद में एसइपीओ भगवान दास सिंवर ने आश्वासन दिया कि दो दिन के भीतर समस्या का समाधान हो जाएगा। उन्होंने एसडीएम तथा उपायुक्त को आरोपितों पर कार्रवाई के लिए लिखा पत्र भी दिया। इसके बाद ग्रामीण शांत हुए।
ग्रामीणों का नेतृत्व दया राम उलाणिया, राकेश फागोडिया, दीप चंद छिंपा, वेदपाल, हंसराज, कमलवीर, रामकुमार, छोटू राम कड़वासरा, प्रहलाद, हरीश खीचड़ कर रहे थे। दोपहर करीब 12 बजे धरना शुरु हुआ था। ग्रामीणों के अनुसार गांव में एक व्यक्ति ने सरेआम टॉयलेट की पाइप गली में छोड़ रखी है। सारा दिन सड़ांध से वातावरण दूषित रहता है। उपरोक्त को समझाने के लिए कई बार पंचायतें हो चुकी हंै। लेकिन वह नहीं माना तो 12 जून को एसडीएम के पास शिकायत की गई थी। एसडीएम ने बीडीपीओ को कार्रवाई के आदेश दिए। इस संबंध में आरोपित को नोटिस जारी किया गया था। नोटिस के जवाब ने व्यवस्था सुधार के लिए सात दिन का समय मांगा। निर्धारित समय सीमा में कोई कार्रवाई नहीं हुई तो पंचायत ने बैठक करके उपरोक्त के खिलाफ कार्रवाई के लिए प्रस्ताव पारित कर दिया।

एसइपीओ को लताड़ लगाई, बोले-ग्रामीणों की शिकायत का समाधान करो
मौका पर पहुंचे विधायक अमित सिहाग के परिवार से एसइपीओ नजदीकियां गिनाने लगे तो विधायक ने उन्हें लताड़ दिया। वे बोले कि यहां नजदीकियां जानने या फिर आवभगत करवाने नहीं आए हैं। ग्रामीणों की शिकायत का समाधान जल्द करो। अगर किसी उच्च अधिकारी से बात करवानी है तो करवाओ। जिस पर एसइपीओ ने कार्रवाई का भरोसा दिलाया।

बीडीपीओ ने मांगी सहायता
इधर बीडीपीओ ने एसडीएम से सहायता की मांग की है। उन्होंने एसडीएम को भेजे लिखित पत्र में कहा है कि समस्या के समाधान के लिए स्वास्थ्य, जनस्वास्थ्य विभाग के साथ-साथ नगरपरिषद के सफाई निरीक्षक की डयूटी उनके साथ लगाई जाए। साथ ही डयूटी मजिस्ट्रेट तथा पुलिस सहायता मांगी है।

20 जून 2020

एम्स दिल्ली से लौटा ग्रामीण कोरोना पॉजिटिव मिला, साथी की रिपोर्ट आई नेगेटिव

इधर गुरुग्राम से लौटा 23 वर्षीय युवक भी कोरोना पॉजिटिव मिला है

डबवाली(लहू की लौ)डबवाली के गांव अहमदपुर दारेवाला तथा सांवतखेड़ा के रहने वाले दो लोग कोरोना संक्रमित मिले हैं। दोनों की ट्रेवल हिस्ट्री है। एक दिल्ली तो दूसरा गुरुग्राम से वापिस लौटा है। रिपोर्ट आने के बाद दोनों को उपचार के लिए कोविड अस्पताल सिरसा में लेजाया गया है।
साथी की रिपोर्ट नेगेटिव, खुद की पॉजिटिव गांव अहमदपुर दारेवाला निवासी 43 वर्षीय व्यक्ति ने बताया कि वह कैटरिंग का कार्य करता है। 9 जून को गांव के एक युवक के साथ कैंसर पीडि़त का टेस्ट करवाने एम्स दिल्ली में गया था। वे एक कॉलोनी में ठहरे थे। 12 जून को वापिस घर लौटा था। खुद को एक अलग कमरे में क्वारंटीन कर लिया था। 14 को घबराहट महसूस होने लगी तो 15 जून को उपरोक्त युवक के साथ सिरसा जाकर खुद का टेस्ट करवाया था। वापिस आकर पुन: क्वारंटीन हो गया था। बृहस्पतिवार को उसके साथी की रिपोर्ट नेगेटिव आई थी। कोरोना संक्रमित का कहना है कि उसने एतिहात बरतते हुए गली में कदम तक नहीं रखा था। घर में उसकी पत्नी, दो बच्चों के अलावा छोटा भाई, उसकी पत्नी तथा एक बच्चा हैं।
इधर गांव सांवतखेड़ा में करीब 23 वर्षीय युवक कोरोना संक्रमित मिला है। वह गुरुग्राम से वापिस लौटा है। उसका कहना है कि सोमवार को वह वापिस लौटा था, उसी दिन उसने डबवाली के उपमंडल नागरिक अस्पताल में अपना टेस्ट करवाया था। उसे आज सिरसा कोविड अस्पताल में शिफ्ट किया गया, रिपोर्ट क्या आई है, उसे तो अभी तक नहीं बताया गया। वहीं ग्रामीणों का कहना है कि टेस्ट के बाद चिकित्सकों ने उपरोक्त युवक को क्वारंटीन रहने की हिदायत नहीं दी थी। इस वजह से वह काफी ग्रामीणों के संपर्क में आया है।

15 जून 2020

सरकार ने डबवाली को दी रोड स्वीपिंग मशीन, जल्द डस्ट फ्री नजर आएगा शहर

जीपीएस सिस्टम युक्त है मशीन, हर रोज 30 किलोमीटर सफाई करने में सक्षम

डबवाली(लहू की लौ)डबवाली शहर जल्द डस्ट फ्री नजर आएगा।। इसके लिए शहरी स्थानीय निकाय (यूएलबी) ने डबवाली नगरपरिषद को करीब 72 लाख रुपये कीमत की रोड स्वीपिंग मशीन उपलब्ध करवाई है। यह मशीन हर रोज 10 घंटे कार्य करके 30 किलोमीटर रोड को डस्ट फ्री कर सकेगी। नगरपरिषद का दावा है कि करीब 50 कर्मचारियों का कार्य अकेले यह मशीन कर सकती है। डस्ट साफ करने के लिए मशीन में तीन ब्रश लगे हैं। मशीन में वेक्यूम के जरिए तीन टन मिट्टी उठाने की क्षमता है। करीब 500 लीटर का टैंक है। शहर को आसानी से सैनिटाइज किया जा सकता है। इस मशीन में सीसीटीवी कैमरों के साथ-साथ जीपीएस एडजस्ट है। बताया जाता है कि जैसे-जैसे मशीन चलेगी, जीपीएस के जरिए रिपोर्टिंग यूएलबी कार्यालय में होगी। डबवाली समेत हरियाणा के 44 स्थानों पर सरकार ने उपरोक्त रोड स्वीपिंग मशीन उपलब्ध करवाई है।

कंपनी की है मशीन, नगरपरिषद देगी किराया
हरियाणा सरकार ने एक कंपनी से टाइअप करके नगरपरिषदों को रोड स्वीपिंग मशीन उपलब्ध करवाई है। बताया जाता है कि संबंधित कंपनी मशीन को चलाने के लिए चालक तथा हेल्पर उपलब्ध करवाएगी। सुपरविजन भी स्वंय करेगी। डबवाली नगरपरिषद हर माह 4.70 लाख रुपये किराया देगी। इसके साथ ही मशीन को चलाने के लिए डीजल भी उपलब्ध करवाएगी।

ड्रीम प्रॉजेक्ट पूरा हुआ
पार्षद विनोद बांसल ने बताया कि मई 2016 में नगरपरिषद के चुनाव के बाद प्रारंभिक बैठकों में शहर की मशीनरीकरण से सफाई की मांग सरकार से की गई थी। प्रस्ताव पारित करके शहर के लिए दो छोटी रोड स्वीपिंग मशीन मांगी गई थी। सरकार ने पॉलिसी निर्णय के तहत यह पूरे प्रदेश में लागू कर दिया। अब शहर डबवाली की सड़कें चकाचक नजर आएंगी।

रोड स्वीपिंग मशीन डबवाली पहुंच गई है। डबवाली को जल्द डस्ट फ्री करने के लिए कार्य शुरु होगा। मशीन कंपनी द्वारा संचालित होगी। चालक तथा हेल्पर मिलेंगे, तो मैंटीनेंस का खर्च भी संबंधित कंपनी वहन करेगी। शहर के लिए यह बहुत बड़ी सौगात है।
-ऋषिकेश चौधरी, सचिव, नगरपरिषद डबवाली

कंटेनमेंट जोन में 31 लोगों की सैंपलिंग, 48 घंटे में आएगी रिपोर्ट

वार्ड नं. 14 तथा 21 में कोरोना पॉजिटिव मामले सामने आने के बाद हरकत में आया स्वास्थ्य विभाग
डबवाली(लहू की लौ)वार्ड नं. 14 तथा 21 में दो युवक कोरोना पॉजिटिव मिलने के बाद कंटेनमेंट जोन बना दिया गया है। रविवार को स्वास्थ्य विभाग ने दोनों इलाकों में सर्वे करवाया। 40 घरों में स्वास्थ्य विभाग की दो टीमों ने दस्तक देकर 98 पुरुषों तथा 83 महिलाओं की जांच की। इसके अतिरिक्त 31 लोगों के सैंपल लिए। जिन्हें जांच के लिए प्रयोगशाला भेजा गया है। 24 से 48 घंटों में रिपोर्ट आने की उम्मीद है।
दिल्ली से लौटे हैं कोरोना संक्रमित
स्वास्थ्य विभाग के अनुसार कोरोना संक्रमित मिले दोनों युवक दिल्ली से डबवाली लौटै हैं। एक युवक गुरुग्राम स्थित कंपनी में कार्यरत है। बताया जाता है कि वह 28 मई को डबवाली के पैसे निकलवाने डाकघर में गया था। 11 जून को सैंपलिंग हुई थी। शनिवार शाम को उसकी रिपोर्ट कोरोना पॉजिटिव आई। डाकघर में जिस कर्मचारी ने उसका कार्य किया था, वह आधार कार्ड बनाता है। उस दिन उसने करीब 50 लोगों के आधार कार्ड बनाए थे। कोरोना संक्रमित युवक रिटायर्ड फौजी का बेटा है। जबकि दूसरा एक बिजली मैकेनिक का बेटा बताया जाता है। फिलहाल दोनों का सिरसा के कोविड अस्पताल में इलाज चल रहा है। बता दें, इससे पहले डबवाली में 8 मामले सामने आए थे। आठों ठीक होकर घर लौट चुके हैं। डबवाली कोरोना मुक्त था, एकाएक दिल्ली से लौटे लोगों ने मुश्किलें बढ़ा दी हैं।
यात्री के बारे में यहां दे सकते हैं सूचना
अगर कोई बाहरी व्यक्ति गुपचुप तरीके से आकर रहने लगा है तो हमारा फर्ज है कि हम स्वास्थ्य विभाग को सूचित करें। स्वास्थ्य विभाग के अनुसार जिले में बाहर से आने वाले नागरिकों के लिए जिला नागरिक अस्पताल सिरसा में फ्लू ओपीडी में जांच करवानी अनिवार्य है। फ्लू ओपीडी के लिए 90530-13961 या 90530-13967 पर जानकारी प्राप्त की जा सकती है। यह दोनों नंबर 24 घंटे उपलब्ध हैं। इसके अतिरिक्त किसी यात्री के बारे में 108 या फिर 01666-241155 पर कॉल कर सकते हैं। जिला उपायुक्त कार्यालय में कंट्रोल रुम बना हुआ है। जिसका हेल्पलाइन नंबर 01666-248882, 98123-00947 है।

14 जून 2020

डबवाली में कोरोना के दो पॉजिटिव मिले, डाकघर के कर्मचारियों में मचा हड़कम्प

ब्लड कैंप में आया था कोरोना पॉजिटिव

डबवाली(लहू की लौ)शनिवार शाम को डबवाली के दो युवक कोरोना पॉजिटिव मिले। 11 जून को दोनों की सैंपलिंग हुई थी। कोरोना पॉजिटिव मिला युवक वार्ड नम्बर 14 स्थित अग्रवाल पीरखाना ने नजदीक गली कुम्हारा वाली का निवासी है। जबकि दूसरा वार्ड नम्बर 21 में दर्पण सिनेमा के पीछे स्थित गली गुरचरण एमसी वाली का रहने वाला है। जोकि रिटायर्ड फौजी का बेटा बताया जाता है। युवक गुरुग्राम की एक कंपनी में जॉब करता है। बताया जाता है कि दोनों दिल्ली से लौटे हैं। इनमें से एक कोरोना संक्रमित पोस्ट आफिस भी गया था। बताया जाता है कि वह पैसे निकलवाने गया था। रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद डाकघर कर्मियों में हड़कम्प मच गया है। जिस कर्मी ने उससे डीलिंग की थी, वह छुट्टी पर गया है। वह मूल रूप से रोहतक का रहने वाला बताया जाता है।
ब्लड कैंप में आया था कोरोना पॉजिटिव
शनिवार को सिरसा जिला में कोरोना के आठ पॉजिटिव केस सामने आए। पहली बार हेल्थ वर्कर कोरोना पॉजिटिव मिला। जोकि सिरसा के सरकारी ब्लड बैंक का सर्वेंट बताया जाता है। एतिहात के तौर पर ब्लड बैंक बंद कर दिया गया है। डबवाली स्थित स्टोरेज सेंटर से भी ब्लड इश्यू करने पर रोक लगा दी गई है। बताया जाता है कि पिछले दिनों घुकांवाली गांव में रेडक्रॉस सोसायटी द्वारा लगाए गए रक्तदान शिविर में भी उपरोक्त हेल्थ वर्कर पहुंचा था। टीम के साथ ब्लड ब्लीड करवाने में मदद की थी। उस दिन स्वास्थ्य ठीक न होने की वजह से टीम सदस्यों ने उसे कोरोना टेस्ट करवाने के लिए कहा था। युवक ने टेस्ट करवाया तो उसकी रिपोर्ट पॉजिटिव आ गई।

हमारा शहर, हमारे जिम्मे
स्वास्थ्य विभाग के अनुसार दिल्ली या अन्य प्रदेशों से आये लोग की कोरोना संक्रमित मिल रहे हैं। अगर कोई व्यक्ति बाहर से आता है तो उसकी सूचना देना जरूरी है। दैनिक लहू की लौ भी सुधि पाठकों से अपील करता है कि अब हमारा शहर, हमारे जिम्मे है। कोई व्यक्ति हॉट स्पॉट एरिया से आता है तो उसकी सूचना तुरंत स्वास्थ्य विभाग को दी जाए। इसमें सम्बन्धित परिवार के अलावा हम सबकी भलाई है।

पंजाब-राजस्थान ने सील की सीमा, हरियाणा के सीमावर्ती इलाके की मुश्किलें बढ़ी


पंजाब-राजस्थान ने सीमा सील करके हरियााणा के सीमावर्ती इलाकों की मुश्किलें बढ़ा दी हैं। हालात यह हो गई है कि राजस्थान में आसानी से प्रवेश मिल जाएगा, लेकिन वापिस आने के लिए ई-पास लेना होगा। जो आसानी से नहीं मिलेगा। कुछ ऐसे ही हालात पंजाब ने पैदा कर दिए हैं। वीकेंड पर पंजाब खुला होगा, पर सीमाएं सील होंगी। ऐसे में जिला सिरसा खासकर डबवाली इलाके के कामकाजी लोग भी पंजाब में प्रवेश नहीं कर पा रहे। पंजाब सरकार ने साफ कर दिया है कि जरुरी होने पर ही ई-पास दिया जाएगा। ऐसे में आने वाले दिनों में सीमावर्ती इलाके के लोगों की मुश्किलें बढ़ सकती हैं।

डबवाली(लहू की लौ)राजस्थान के बाद दूसरे पड़ौसी सूबे पंजाब ने भी सीमाएं सील कर दी हैं। पंजाब में वीकेंड पर शनिवार तथा रविवार को यह व्यवस्था लागू रहेगी। नई व्यवस्था के मुताबिक अंतरराजीय तथा अंतरजिला आवाजाही के लिए ई-पास जरुरी कर दिया गया है। इस दौरान मेडिकल इमरजेंसी में आने-जाने के लिए छूट तय की गई है। शनिवार को पहले दिन डबवाली से सटे पंजाब के जिला श्री मुक्तसर साहिब तथा बठिंडा की सीमा पर पुलिस तैनात रही। हरियाणा के लोगों की एंट्री नहीं मिली। ऐसे में लोगों ने बठिंडा या श्री मुक्तसर साहिब जाने के लिए चोर रास्तों का सहारा लिया। इधर राजस्थान की सीमा भी सील रही। लेकिन पंजाब की तरह सख्ती नहीं बरती गई। बाहरी व्यक्तियों को स्क्रीनिंग के बाद प्रवेश करने दिया जा रहा था। राजस्थान से वापिस लौटने के लिए ई-पास जरुरी किया गया है।
शनिवार को बठिंडा रोड पर एएसआइ जरनैल सिंह के नेतृत्व में पुलिस तैनात थी। किसी को सीमा पार नहीं करने दी जा रही थी। डबवाली के गांव मटदादू से कार पर जा रहे छह लोगों को पुलिस ने रोक लिया। पुलिस उनका चालान काटने को तैयार हो गई। ग्रामीणों ने जब बताया कि वे किसी के अंतिम संस्कार में शरीक होने जा रहे हैं तो पुलिस ने उन्हें जाने दिया। इधर मलोट रोड पर एएसआइ गुरदीप सिंह के नेतृत्व में पुलिस नाका लगाए हुए थी। यहां जाम जैसी स्थिति दिखाई दी। ई-पास देखकर ही पुलिस ने लोगों को जाने दिया। अन्य गाड़ी चालकों को वापिस भेज दिया।

गजटिड छुट्टियों वाले दिन आवाजाही के लिए ई-पास जरुरी कर दिया गया है। शेष पांच दिनों के लिए पुरानी व्यवस्था ही रहेगी।
-जिला मजिस्ट्रेट
बी. श्रीनिवासन, बठिंडा (पंजाब)

राजस्थान में इंट्री के लिए ई-पास की जरुरत नहीं। प्रदेश से वापिस लौटने या प्रदेश के नागरिक को बाहर जाने के लिए ई-पास जरुरी है।
-एसडीएम मांगी लाल सुथार, संगरिया (राजस्थान)

विश्व रक्तदाता दिवस विशेष


रक्तदान के प्रेमी हैं रामधन, 127 बार कर चुके हैं रक्तदान
जेबीटी नवीन नागपाल 87 तथा 77 बार रक्तदान कर चुके हैं डॉ. राजकपूर गर्ग




डबवाली(लहू की लौ) स्वेच्छिक रक्तदान की बात करें तो रोहतक के बाद सिरसा जिला प्रदेश में दूसरे स्थान पर है। अकेले डबवाली में हर वर्ष 10 हजार यूनिट रक्तदान होता है। ऐसे रक्तदाताओं में से एक है रामधन। इस इंसान को रक्तदान प्रेमी कहा जाए तो कोई अचरज नहीं होना चाहिए। डबवाली के गांव रामपुरा बिश्नोइयां का रहने वाला यह 58 वर्षीय इंसान 127 बार रक्तदान कर चुका है। खास बात यह है कि इनका ब्लड ग्रुप रेयर है। पेशे से ऑटो चालक यह इंसान रेयर ब्लड ग्रुप बी नेगेटिव होने के बावजूद 60 किलोमीटर के दायरे में रक्तदान करने पहुंच जाता है। रामधन ने वर्ष 1991 में रक्तदान की शुरुआत की थी। उन दिनों वह हनुमानगढ़ जंक्शन गया हुआ था। एक निजी अस्पताल में रक्त के अभाव में तड़प रही महिला को देखकर उसे रहा नहीं गया। चिकित्सक की प्रेरणा के बाद रामधन ने रक्तदान किया। महिला की जान बच गई। अब तक वह सिरसा, लुधियाना, चंडीगढ़, बीकानेर, जयपुर, हनुमानगढ़ के साथ-साथ इलाके में आयोजित होने वाले रक्तदान शिविर में 127 बार रक्तदान कर चुका है। यह शख्स युवाओं के लिए प्रेरणा स्त्रोत बन गया है। उसे रक्तदान करते देख रामपुरा बिश्नोईयां, रामगढ़, गोरीवाला, गंगा, झुट्टीखेड़ा के युवा रक्तदान करने लगे हैं।

रामधन की तरह उसका ऑटो भी रक्तदान के लिए प्रेरित करता है। कई तरह के स्लोगन उसने अपनी ऑटो पर लिखवाए हुए हैं। ऑटो में बैठी सवारी को बातों-बातों में वह रक्तदान करने का आह्वान करता है। इस ऑटो चालक का सीधा सा फार्मूला है कि एक व्यक्ति को रक्तदान के लिए कहोगे, वह अपने पूरे परिवार को रक्तदान के लिए कहेगा। परिवार में एक भी सदस्य जागरूक हो गया, तो पूरा परिवार रक्तदानी बन जाएगी।

रक्त से बची थी जान, अब बचा रहे दूसरों की जान
डबवाली निवासी नवीन नागपाल 87 बार रक्तदान कर चुके हैं। वे पेशे से जेबीटी हैं। उनके रक्तदाता बनने की कहानी दिलचस्प है। उनका जन्म वर्ष 1973 को फिरोजपुर (पंजाब) में हुआ था। अगर समय पर रक्त न मिलता तो जच्चे-बच्चे में से किसी की जान जा सकती थी। जब नवीन करीब 22 साल के हुए तो उनकी मां राज रानी ने इस बात का खुलासा किया। उन्होंने रक्तदान करना शुरु किया। करीब 47 वर्ष के नवीन अब तक 87 बार रक्तदान कर अजनबियों से खून का रिश्ता जोड चुके हैं। उनके वाहन पर ब्लड डोनर लिखा हुआ है, साथ ही रक्तदान का डिजिट। हर तीन माह बाद वे रक्तदान करते हैं तो डिजिट बदल जाता है। नवीन नागपाल के अनुसार, आज तक उन्हें किसी तरह की कमजोर महसूस नहीं हुई। बल्कि फायदा हुआ है, आज तक कभी बीमारी ने घर नहीं किया।

उम्र 68 साल, फिर भी रक्तदान का जज्बा बरकरार
डबवाली निवासी डॉ. राजकपूर गर्ग करीब 68 वर्ष के हो चुके हैं। वे 77 बार रक्तदान कर चुके हैं। नियमानुसार वे रक्तदान नहीं कर सकते, लेकिन उनकी इच्छा है कि मरते दम तक रक्तदान करुं। डॉ. राजकपूर गर्ग ने बताया कि 1972 में मेडिकल कॉलेज रोहतक में बी फार्मेसी के दौरान जागरुक होकर पहली बार रक्तदान किया था। तब ऐसा लगा था कि जान निकल गई है। रिफ्रेशमेंट के बाद बाजार में बहुत कुछ खाया। कुछ दिनों बाद शरीर हलका-फुलका तथा एनर्जी से भरा लगा। तब से ऐसी लगन लगी कि अब यहां भी रक्तदान कैंप लगता है तो खून देने पहुंच जाते हैं। आज तक कभी भी शरीर में तकलीफ महसूस नहीं हुई।

सिरसा जिला में सर्वाधिक समय रक्तदान करने वालों में रामधन प्रेमी, नवीन नागपाल तथा डॉ. राजकपूर गर्ग आदि 8-10 लोगों का नाम सूची में शामिल है। ये ऐसे रक्तदाता है, जो युवाओं को रक्तदान के प्रति जागरुक करते हैं।
-अश्विनी शर्मा, कार्यक्रम अधिकारी, जिला रेडक्रॉस सोसायटी सिरसा

12 जून 2020

राजस्थान सीमा से लाइव राजस्थान ने शहरी क्षेत्र में प्रवेश रोका, बाइपास से इंट्री कर सकते हैं हरियाणा-पंजाब के लोग


बाइपास पर पहचान पत्र दिखाकर स्क्रीनिंग के बाद राजस्थान दे रहा प्रवेश

पड़ौसी सूबे के मूल निवासियों को अधिक परेशानी, बाहर जाने के लिए अनुमति जरुरी हुई


डबवाली (लहू की लौ) हरियाणा-पंजाब के लोगों के लिए राजस्थान में इंट्री बैन नहीं है। स्क्रीनिंग के बाद उन्हें प्रवेश दिया जा रहा है। सीमा पर उन्हें पहचान पत्र दिखाना होता है, वे कहां जा रहे हैं, सिर्फ यहीं बताना होता है। पड़ौसी सूबे ने स्थानीय नागरिकों के लिए सीमा सील की है। स्थानीय नागरिक बिना पास राजस्थान से बाहर नहीं जा सकते।
लाइव रिपोर्ट :
हरियाणा के आखिरी छोर पर स्थित गांव चौटाला से करीब चार किलोमीटर की दूरी पर राजस्थान पुलिस ने स्वामी केशवानंद महाविद्यालय ग्रामोत्थान के सामने सीमा सील कर रखी है। किसी को संगरिया शहर में प्रवेश नहीं करने दिया जा रहा। राजस्थान पुलिस के 8-10 जवानों के साथ-साथ भारत स्काऊटस के वॉलंटियर्स योगेश के नेतृत्व में डयूटी कर रहे हैं। हरियाणा, पंजाब के अतिरिक्त राजस्थान के मूल निवासी को भी इस गेट से इंट्री नहीं दी जा रही। लोग राजस्थान के मूल निवासी होने के प्रमाण पत्र तक दिखा रहे हैं, सभी को संगरिया बाइपास के रास्ते से आने के लिए कहा जा रहा है। यह गेट केवल उनके लिए ही खोला जा रहा है, जिनके पास सूबे से बाहर जाने के लिए राजस्थान सरकार की अनुमति है। संगरिया के मूल निवासी हरप्रीत को गेट पर रोका गया है। कार में उसके साथ उसकी पत्नी तथा बच्चा है। तीनों चौटाला से वापिस घर जा रहे हैं। उन्हें आगे नहीं बढऩे दिया जा रहा। बाइक पर पत्नी, बच्चे संग बठिंडा से लौटा संगरिया का रमेश कुमार भी जाम में फंसा हुआ है। उसका कहना है कि वह ससुराल गया था। पंजाब, हरियाणा सीमा क्रॉस करने में मुझे कोई परेशानी नहीं आई। अपने सूबे पहुंचा हूं तो सीमा पर रोक लिया गया। कहते हैं कि संगरिया बाइपास के रास्ते आओ।

राजस्थान से बाहर जाने वालों को परमिशन जरुरी है। अन्य प्रदेशों से आने वालों को शहर की सीमा पर रोका जा रहा है। उन्हें संगरिया बाइपास से आने के लिए कहा जा रहा है। क्योंकि वहां स्क्रीनिंग हो रही है। राजस्थान में आने वाले प्रत्येक व्यक्ति से पूरी जानकारी जुटाई जा रही है। हां, बसें तो पूरी तरह से बंद हैं।
-अनिल कुमार
(संगरिया शहर की सीमा पर तैनात राजस्थान का अध्यापक)

राजस्थान को सुरक्षित रखने के लिए हम वालंटियर्स सेवारत हैं। हमारा कार्य लोगों को जागरुक करना है। संगरिया शहर के प्रवेश द्वार को बंद किया गया है। यहां से किसी को इंट्री नहीं दी जा रही।
-योगेश कुमार, भारत स्काऊट

11 जून 2020

25 लाख रुपये की 11 किलोग्राम अफीम सहित कार सवार व्यक्ति काबू

सिरसा(लहू की लौ) जिला भर में पुलिस अधीक्षक सिरसा उप पुलिस महानिरीक्षक डॉ. अरुण सिंह के नेतृत्व में नशे के खिलाफ चलाए जा रहे विशेष अभियान के तहत कार्यवाही करते हुए जिला की सीआईए सिरसा पुलिस टीम ने लाखों रूपये की अफीम के साथ कार सवार एक व्यक्ति काबू कर बड़ी सफलता हासिल की है । सीआईए पुलिस ने गस्त व चैकिंग के दौरान महत्वपूर्ण सुचना के आधार पर कार्यवाही करते हुए जमाल क्षेत्र से कार सवार एक व्यक्ति को करीब 25 लाख रुपये की 11 किलोग्राम अफीम के साथ काबू किया गया है । इस संबंध में जानकारी देते हुए डीएसपी आर्यन चौधरी व सीआईए सिरसा प्रभारी इंस्पैक्टर रविंद्र कुमार ने संयुक्त रुप से बताया कि पकड़े गए युवक की पहचान दिनेश कुमार पुत्र मांगी लाल निवासी वार्ड नं. 6, तुरकिया मंदसौर (मध्यप्रदेश) के रूप में हुई है । उन्होने बताया कि पकड़े गए युवक से सप्लायर के बारे में नाम पता मालूम कर इस संबंध में थाना नाथूसरी चौपटा में मादक पदार्थ अधिनियम के तहत अभियोग दर्ज कर सप्लायर व अफीम तस्करी के इस नेटवर्क से जुड़े अन्य लोगों की तलाश शुरु कर दी है। इस संबंध में उन्होंने बताया कि सीआईए सिरसा पुलिस के उप निरीक्षक सतबीर सिंह के नेतृत्व में एक पुलिस टीम गश्त व चैकिंग के दौरान चौपटा क्षेत्र के जमाल गांव में मौजूद थी । इसी दौरान महत्तवपूर्ण सुचना मिली कि कार में सवार एक व्यक्ति मध्यप्रदेश से अफीम की एक बड़ी खेप लेकर नाथूसरी चौपटा क्षेत्र में अफीम सप्लाई करने की फिराक में है । डीएसपी आर्यन चौधरी ने बताया कि इस सुचना को पाकर सीआईए सिरसा पुलिस टीम ने जमाल क्षेत्र में सेमनाला के पास नाकाबंदी कर आने जाने वाले वाहनों की चैकिंग शुरू की । इसी दौरान सामने से आ रही कार को शक के बिनहा पर रोककर कार की तलाशी लेने पर उक्त कार में से 11 किलोग्राम अफीम बरामद हुई । प्रारंम्भिक पूछताछ में पता चला है  कि यह अफीम आरोपी द्वारा मध्यप्रदेश क्षेत्र से लाई गई थी और उसे चौपटा क्षेत्र के गांव दड़बा व अन्य क्षेत्रों में सप्लाई की जानी थी । उन्होंने बताया कि पकड़ी गई अफीम की कीमत अंतर्राष्ट्रीय बाजार में करीब 25 लाख रुपए आंकी गई है । पकड़े गए व्यक्ति को अदालत में पेश कर रिमांड पर लिया जाएगा और रिमांड अवधि के दौरान अफीम तस्करी के इस नेटवर्क से जुड़े अन्य लोगों के बारे में नाम पता मालूम कर उनके खिलाफ भी कार्यवाही की जाएगी ।

11 June 2020





09 जून 2020

डबवाली खंड की 48 पंचायतों ने दी चेतावनी

सरकार एक हफ्ते में ई-ट्रेडिंग रोके, वरना हम सामूहिक तौर पर देंगे इस्तीफा 
डबवाली(लहू की लौ)ई-ट्रेडिंग व्यवस्था लागू करने से नाराज़ डबवाली खंड की 48 पंचायतों ने सामूहिक तौर पर इस्तीफा देने की चेतावनी दी है। इस संबंध में सोमवार को पंचायतों ने तहसीलदार संजय चौधरी को मुख्यमंत्री हरियाणा के नाम नोटिस थमा दिया। नोटिस में कहा गया है कि हरियाणा सरकार ने पंचायतों को ई-ट्रेडिंग के माध्यम से मेटीरियल खरीदने के लिए कहा है। इस नीति को तुरंत प्रभाव से रोका जाए। चूंकि इसके कारण पंचायत विकास कार्य नहीं करवा सकेगी। पंचायतों ने उपरोक्त नीति पर एक हफ्ते में रोक लगाने की मांग करते हुए कहा है कि अगर ऐसा नहीं हुआ तो डबवाली खंड की सभी पंचायतें सामूहिक रुप से इस्तीफा देने को मजबूर होंगी। इस मौके पर सरपंच जोगिंद्र सिंह रामगढ़, सरपंच प्रतिनिधि प्रहलाद बनवाला, धर्मपाल गोदिकां, बलविंद्र सिंह मुन्नांवाली, सरपंच प्रतिनिधि संदीप सहारण झुट्टीखेड़ा, खुशकरण सिंह मसीतां मौजूद थे। तहसीलदार ने कहा कि उचित माध्यम से मांग पत्र को सरकार तक भेजा जाएगा।

सरपंच बोले-चार साल में सर्वे के अलावा कुछ नहीं हुआ
तहसीलदार को मांग पत्र सौंपते हुए सरपंचों ने कहा कि जनवरी 2016 में नई पंचायत बनी है, तब से ना कोई गरीब के लिए बीपीएल कार्ड, न ही प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत मकान आया है। इतना ही नहीं किसी को प्लाट अलॉट नहीं हुआ है, न ही किसी को किसी प्रकार की सुविधा मिली है। सरकार ने चार साल से ऊपर का समय केवल सर्वे करते-करते बिता दिया। मनरेगा के तहत काम नहीं मिला। सरकार ने कोरोना महामारी के चलते गांव में सभी गरीबों को मुफ्त अनाज देने का वायदा किया था। सामने आया है कि उन लोगों को राशन कूपन दिए गए, जिनके पास अच्छी जमीन जायदाद है। जबकि गरीब लाभ से वंचित रह गए।

ई-ट्रेंडिंग प्रणाली काफी जटिल है। बार-बार मेटीरियल के लिए ई-ट्रेडिंग करनी होगी। इसमें काफी समय व्यतीत हो जाएगा। ऐसे में कोई भी कार्य समय पर पूरा नहीं होगा। सरकार ने उनकी मांग की तरफ ध्यान नहीं दिया तो हम सामूहिक तौर पर इस्तीफा देने को बाध्य होंगे।
-प्रहलाद कासनिया, प्रधान
सरपंच एसोसिएशन डबवाली

9 June. 2020





07 जून 2020

कोविड अस्पताल में उपचाराधीन अदालत के नाजर की दूसरी रिपोर्ट पॉजिटिव

पाठशाला इंचार्ज, केमिस्ट समेत चार की रिपोर्ट निगेटिव
डिस्चार्ज होने के बाद इंचार्ज बोले-हमारे वार्ड में मरीज टेबलेट नहीं खाता था, उसकी रिपोर्ट निगेटिव आई है, अब लिफाफे में टेबलेट डाल घर ले गया

डबवाली(लहू की लौ)शनिवार को डबवाली के लिए सुखद भरी खबर आई। पिछले दिनों कोरोना पॉजिटिव मिले चार लोगों की रिपोर्ट निगेटिव आई है। कोविड अस्पताल से उन्हें डिस्चार्ज कर दिया गया है। जबकि डबवाली अदालत में नाजर की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। डबवाली इलाके में एक्टिव मरीजों की संख्या दो रह गई है। नाजर के साथ गांव मौजगढ़ का एक युवक कोविड अस्पताल में उपचाराधीन है। वह कुवैत से वापिस लौटा है।
डिस्चार्ज के बाद बोले-व्यवस्था में सुधार की गुंजाइश, सवाल उठाए
गांव अलीकां की राजकीय प्राथमिक पाठशाला के इंचार्ज तथा उनकी पत्नी की रिपोर्ट निगेटिव आई है। अस्पताल से डिस्चार्ज होते समय उन्होंने स्वास्थ्य विभाग की व्यवस्थाओं पर प्रश्न चिन्ह लगाए। उन्होंने बताया कि सुबह तीन तथा शाम को दो टेबलेट खाने को दी जाती थीं। वार्ड में एक मरीज ऐसा था, जो टेबलेट खाने की अपेक्षा लिफाफे में रख लेता। बिना गोली खाए उसकी रिपोर्ट भी निगेटिव आई है। डिस्चार्ज होकर घर जाते-जाते लिफाफे में गोलियां दिखाकर गया है। दंपती के अनुसार कोरोना संबंधी अब तक जो रिपोट्र्स हैं, वो मिथ्या नजर आती हैं। चूंकि अगर हम दोनों को कोरोना था, तो उनके संपर्क में चौबीस घंटे रहने वाले उनके बच्चों की रिपोर्ट निगेटिव कैसे आ गई? सवालों के जवाब स्वास्थ्य विभाग को देने चाहिए, ताकि आम जन मानस में कोरोना के प्रति फैली भ्रांतियां दूर हो सकें। इसके अतिरिक्त केमिस्ट तथा गुजरात से डबवाली लौटी महिला की रिपोर्ट निगेटिव आई है। जबकि दोनों के संपर्क में आने वाले 8 लोगों की रिपोर्ट पहले ही निगेटिव आ गई थी।

नाजर की रिपोर्ट पॉजिटिव
इधर डबवाली अदालत में नाजर की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। चंड़ीगढ के सेक्टर 20 का रहने वाले 27 वर्षीय युवक का सैंपल 29 मई को लिया गया था। 1 जून को रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी। इसलिए उसे कोविड अस्पताल सिरसा में शिफ्ट कर दिया गया था। उससे मिले लोगों की जांच के लिए सैंपल लिए गए थे। हालांकि उनकी रिपोर्ट निगेटिव आई थी। बता दें, नाजर 22 मई को मार्केट कमेटी डबवाली की गाड़ी में लिफ्ट लेकर पंचकूला गया था। 28 मई को पंचकूला से सिरसा आया था। वहां से लिफ्ट लेकर फिर डबवाली अपने घर पहुंचा था।

सीसीटीवी फुटेज से पकड़े गए सरसों चोर, केस दर्ज

डबवाली(लहू की लौ)गांव मटदादू में सरसों चोरी का मामला सामने आया है। सीसीटीवी फुटेज के आधार पर हुई पहचान के बाद पुलिस ने दोनों चोरों को गिरफ्तार कर लिया है। जानकारी अनुसार गांव मटदादू निवासी जसवीर सिंह वर्तमान में गिदड़बाहा (पंजाब) के नजदीक स्थित फकरसर गांव में रहते हैं। बृहस्पतिवार को गांव डबवाली निवासी बिट्टू खान तथा विपिन पंडित ने मटदादू स्थित सूने घर के ताले को आरी से काटकर भीतर प्रवेश किया। घर में ढेरी सरसों को दो गट्टों में भरकर फरार हो गए। जसवीर सिंह की जमीन हिस्से पर काश्त करने वाले को चोरी का पता चला तो गांव में लगे सीसीटीवी कैमरों की फुटेज देखनी शुरु की गई। पता चला कि चोर बाइक पर सवार होकर आए थे।
बताया जाता है कि शुक्रवार शाम करीब 3 बजे उपरोक्त दोनों चोर पुन: बाइक पर चोरी करने गांव में आ गए। इधर ग्रामीण सीसीटीवी फुटेज के आधार पर युवकों की पहचान कर रहे थे कि उन्हें दोनों दिखाई पड़ गए। आरोपितों को धर दबोचा गया। सूचना पाकर पुलिस मौका पर पहुंच गई। आरोपितों ने बताया कि वे सरसों को बेच आए हैं। बताया जाता है कि पुलिस ने चोरी की गई सरसों बरामद कर ली है। जसवीर सिंह की शिकायत पर आरोपितों के खिलाफ केस दर्ज किया गया है।
जांच अधिकारी ईश्वर सिंह ने बताया कि बिट्टू खान तथा विपिन पंडित को शनिवार को अदालत में पेश किया गया। अदालत ने दोनों को जेल भेजने के आदेश दिए।

कालांवाली में खालिस्तान के पोस्टर लगाने वाले दो गिरफ्तार

कालांवाली(लहू की लौ) वीरवार रात्रि को कालांवाली शहर में कई जगहों पर खालिस्तान जिंदाबाद के पोस्टर लगाने के मामले में पुलिस ने सख्ती दिखाते हुए दो लोगों को काबू कर लिया है। इस घटना में शामिल तीसरे आरोपित की भी पहचान कर ली गई है। तीनों के खिलाफ विभिन्न धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। पुलिस ने इस संबंध में जगतार सिंह तारी व गुरसेवक सिंह निवासी कालांवाली को काबू कर लिया है, जबकि अंग्रेज सिंह की तलाश जारी है। तीन युवक नौजवान हैं और एक यू ट्यूब चैनल में देखकर पोस्टर चिपकाने की घटना को अंजाम दिया।
उल्लेखनीय है कि बीते दिवस कालांवाली गुरूद्वारे, मंदिर सहित अनेक जगहों पर खालिस्तान जिंदाबाद लिखे पोस्टर चस्पा कर दिए गए थे। जिससे शहरवासी हक्के-बक्के रह गए। तुरंत घटना के बारे में पुलिस को इतला किया गया। पुलिस अधीक्षक डॉ. अरुण नेहरा ने घटना को गंभीरता से लेते हुए पुलिस को पूरे मामले का जल्द से जल्द पर्दाफाश करने के निर्देश दिए। सिरसा के डीएसपी राजेश चेची को भी कालांवाली भेजा गया। डीएसपी कालांवाली थाना पहुंचे और पोस्टर वाली जगहों से कुछ लोगों से पूछताछ भी की है। इसके साथ पोस्टर चस्पा किए गए स्थानों के आस पास लगे सीसीटीवी कैमरों को भी पुलिस खगालने में जुट गई है। पुलिस अधीक्षक डॉ. अरुण नेहरा ने बताया कि पोस्टर लगाने की घटना में शामिल दो युवकों को गिरफ्तार कर लिया गया है, जबकि तीसरे की गिरफ्तारी के लिए पुलिस दबिश दे रही है। पुलिस पूछताछ में युवकों ने खुलासा किया कि उन्होंने एक यू ट्यूब चैनल पर इस तरह के पोस्टर लगाने जैसी न्यूज देखकर घटना को अंजाम दिया। बताया जाता है कि एक पेट्रोल पंप पर रखे प्रिंटर से ये पोस्टर निकाले गए थे। पुलिस अधीक्षक डॉ. नेहरा ने कहा कि जिला में किसी भी असामाजिक तत्वों को अशांति फैलाने की कतई अनुमति नहीं दी जाएगी।

शहीदी सदैव हमें जुल्म से लडऩे की प्रेरणा देगी

तीन साल पहले मध्यप्रदेश में मारे गए छह किसानों की याद में शहीदी दिवस मनाया
डबवाली(लहू की लौ)वर्ष 2017 में मध्य प्रदेश की शिवराज सरकार ने शांतमयी तरीके से हक मांग रहे किसानों पर अंधाधुंध लाठीचार्ज तथा गोलियां चला दी थी। सरकार के इस बर्बरतापूर्ण अत्याचार से छह किसानों की जान चली गई थी, तो वहीं सैंकड़ों किसान घायल हुए थे। तीन साल पहले सरकार के अत्याचार में मारे गए किसानों को शहीद का दर्जा देते हुए राष्ट्रीय किसान संगठन ने शनिवार को डबवाली में शहीदी दिवस मनाया। किसानों ने दो मिनट का मौन रखते हुए शौक जताया और श्रद्धासुमन अर्पित किए। किसानों ने कहा कि मध्य प्रदेश के छह साथियों की शहीदी हमें जुल्म से लडऩे के लिए हमेशा प्रेरित करती रहेगी। साथ ही किसानों की मांगे न मानने पर सरकार के खिलाफ रोष प्रकट किया।
संगठन के प्रदेशाध्यक्ष जसवीर सिंह भाटी ने कहा कि वर्ष 2014 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी किसानों से वायदा करके सत्ता में आई थी। न तो सरकार ने स्वामीनाथन आयोग की रिपोर्ट लागू की न ही किसानों का कर्ज माफ किया। किसानों ने हक पाने के लिए आंदोलन शुरु किए तो सरकार ने आंदोलन को दबाने की कोशिशें शुरु कर दी। इसी क्रम में आगे बढ़ते हुए सरकार ने छह किसानों को मौत के घाट उतार दिया था। इस मौके पर देवेंद्र भोभिया, लाभ सिंह मटदादू, वेदपाल डांगी, बलवीर सिंह चट्ठा, सुरेश पूनियां, राकेश नेहरा, मलकीत सिंह मौजूद थे।